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पैरेंट्स को कई छोटी-छोटी बातों का रखना होता ध्यान, न्‍यूबोर्न बेबी के हाथों में क्‍यों पहनाएं जाते हैं दस्‍तानें, जानें

नई दिल्ली : जब बेबी की केयर करने की बात आती है तो पैरेंट्स को कई छोटी-छोटी बातों का ध्यान रखना होता है। फिर चाहे बात उनके कपड़ों की ही क्यों ना हो। ऐसा माना जाता है कि बच्चों को बाहरी वातावरण से बचाने के लिए उन्हें सही तरह से कवर करना जरूरी होता है। इसी क्रम में, बेबी को दस्ताने पहनाने की आवश्यकता महसूस की जाती है। आमतौर पर, लोग इसे लेकर दो राय रखते हैं। जहां कुछ लोगों का मानना है कि बेबी को दस्ताने पहनाने चाहिए, वहीं कुछ लोग इसके विपक्ष में अपनी राय रखते हैं। तो चलिए आज इस लेख में हम आपको बता रहे हैं कि छोटे शिशु को दस्ताने पहनाने चाहिए या नहीं-

जब एक बच्चा पैदा होता है, तो उसके हाथ छूने पर ठंडे महसूस होते हैं। इसके अलावा, कुछ शिशुओं के लंबे व नुकीले नाखून होते हैं जिससे वह अपनी कोमल त्वचा को खुरच लेते हैं। दोनों ही समस्याओं से निपटने में दस्ताने मदद करते हैं। जब आपका शिशु जाग रहा होता है या सो रहा होता है, तो ये दस्ताने उन्हें खुद को स्क्रैच करने या फिर नुकसान पहुंचाने से बचाने में मदद करते हैं।

वहीं, नेशनल स्लीप फाउंडेशन के अनुसार, सोते समय नवजात शिशु के आकस्मिक खरोंच को रोकने में ये एक प्रभावी उपकरण साबित हो सकता है। यूएस नेशनल लाइब्रेरी ऑफ मेडिसिन भी इसकी सिफारिश करता है।

जहां एक ओर शिशुओं के लिए दस्ताने पहनना आवश्यक माना गया है, वहीं यह जरूरी नहीं है कि हर वक्त उन्हें दस्ताने पहनाए जाए। उदाहरण के लिए, यदि आप अपने बच्चे को स्वैडल में लपेटती हैं, तो आपको दस्तानों की आवश्यकता नहीं है। वहीं, अगर आपको यह डर है कि शिशु अपनी त्वचा को खरोंच देगा, तो आप बच्चे के नाखूनों को नियमित रूप से ट्रिम करके इस समस्या का हल ढूंढ सकते हैं।

इससे भी महत्वपूर्ण बात यह है कि बच्चे गर्मी के प्रति बहुत संवेदनशील होते हैं। इसलिए बच्चों का ज्यादा गर्म होना ठण्ड से ज्यादा खतरनाक होता है। इसलिए, बहुत से लोग इस बात पर जोर देते हैं कि मोज़े और दस्ताने शिशुओं के लिए बहुत हानिकारक हैं।

दस्तानों से शिशु को मिलने वाले फायदे
दस्तानों का इस्तेमाल करना या ना करना शिशु की जरूरत पर निर्भर करता है। लेकिन फिर भी इससे मिलने वाले फायदों को नजरअंदाज नहीं किया जा सकता, जो कुछ इस प्रकार है-

• जैसे-जैसे शिशु की मोटर एबिलिटीज डेवलप होती है, वह अपने हाथों से अपने चेहरे को स्क्रैच करते हैं। इन मूवमेंट के परिणामस्वरूप आसानी से घाव हो सकते हैं और बच्चे को चोट लग सकती है। लेकिन दस्ताने बच्चे को सुरक्षा प्रदान करते हैं। खासकर अगर वे सामने के करीब बने हों।

• जब बच्चे स्तनपान कर रहे होते हैं, तो वे अपनी मां के स्तनों को पकड़ लेते हैं, जो आपके लिए दर्दनाक हो सकता है। लेकिन, अगर वे दस्ताने पहनते हैं, तो मां उन्हें स्तनपान कराते समय अधिक सहज महसूस करेगी।

• शिशुओं को अक्सर चीजों को पकड़ने और उन्हें अपने मुंह में डालने में मजा आता है। वह अधिकतर अपने हाथों को मुंह में डालते हैं। हाथों को साफ रखने के लिए दस्तानों का इस्तेमाल किया जा सकता है। ऐसा करने से वे बीमार नहीं पड़ेंगे।

• अंगूठा चूसना शिशुओं में एक आम बात है। दस्ताने का कपड़ा कुतरने में असहज होता है। इसलिए, दस्ताने पहनाने से आपके शिशु को अंगूठा चूसने से रोकने में मदद मिल सकती है। अंगूठा चूसने के अलावा, बच्चे की एक और आम आदत है हाथ काटना। बेबी के दस्तानों के इस्तेमाल से इससे भी बचा जा सकता है।

• बच्चों के हाथ गर्म रखने के लिए भी दस्तानों का इस्तेमाल करना एक अच्छा विचार है, खासकर सर्दियों में। यह उनकी उंगलियों को गर्म रखता है और ठंड के मौसम में उन्हें अधिक आराम महसूस कराता है।

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