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फर्रुखाबाद : माटी के मोल पहुंचे आलू के दाम, अन्नदाता परेशान

फर्रुखाबाद : माटी के मोल पहुंचे आलू के दाम, अन्नदाता परेशान
फर्रुखाबाद : माटी के मोल पहुंचे आलू के दाम, अन्नदाता परेशान

फर्रुखाबाद : उत्तर प्रदेश के फर्रुखाबाद जिले के आलू मंडी सातनपुर में आलू के भाव फिर माटी के मोल पहुंच गए हैं। साढ़े 3 सौ रुपया प्रति पैकेट आलू के भाव आज खोले गए हैं। वहीं, फर्रुखाबाद के आलू को लेकर गई आसाम के गुवाहाटी ट्रेन में व्यापारी को भारी घाटा पड़ा है। बाहर की मंडियों में भेजे गए आलू में व्यापारियों को अपनी जेब से किराया देना पड़ा है।

आलू के भाव एकाएक गिरने से आलू किसान परेशान हो गया है। 4000 रुपये प्रति कुंतल बिकने वाला आलू आज यहां 740 रुपये कुंतल बिकने से किसानों की नींद उड़ गई है। मंडी समिति में आज आलू की आमद 200 मोटर बताई गई है। आढ़तियों का कहना है की साढ़े तीन सौ रुपये तक आलू आज बिक रहा है, जिससे किसानों को भारी घाटा हो रहा है।

बताते चलें कि, आलू की फसल तैयार होने के बाद शुरुआती दौर में यहां आलू के दाम 4 हजार रुपये प्रति कुंतल खोले गए थे।4000 से गिरकर आलू के दाम 740 रुपये प्रति कुंतल पहुंच गए हैं। जिससे किसानों को लागत निकालनी मुश्किल पड़ रही है। आलू आढ़ती अरविंद राजपूत का कहना है कि अभी हाल में ही 21,000 पैकेट लेकर ट्रेन असम गुवाहाटी रवाना हुई थी।

35 रुपये किलो के हिसाब से यहां से आलू भेजा गया था। लेकिन गुवाहाटी में भाव गिर जाने से किसानों को 21 रुपये प्रति किलो के दाम मिले हैं। जिससे उन्हें ट्रेन का किराया निकालना मुश्किल हो गया है।

कमोबेश यही हाल बिहार प्रदेश को भेजे गए आलू का हुआ है। यहां भी व्यापारियों को आलू में भारी नुकसान हुआ है। जिसकी वजह से आलू और गिर गया है। आलू किसान नारद सिंह कश्यप का कहना है कि कच्ची फसल में आलू की पैदावार कम निकल रही है और भाव एकाएक गिरने से किसान की जेब से पैसा जाने के आसार उत्पन्न हो गए हैं। उनका कहना है कि मंडी समिति में दिन-प्रतिदिन आलू के भाव गिरते चले जा रहे हैं। जिसको लेकर किसान परेशान है।

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यहां चल रही शीतलहर में किसान आलू खोदकर मंडी में भेज रहा है और मंडी में उसका आलू आने ओनेपोने बिक रहा है। गत वर्ष किसानों को आलू की फसल में जो मुनाफा हुआ था, मौजूदा समय में आलू माटी के मोल बिकने से किसान आहत हो गया है। अब अन्नदाता के सामने कोई सहारा नहीं बचा है। जिस तरह आलू के दाम दिन प्रतिदिन गिर रहे हैं उससे अन्नदाता आत्महत्या करने को मजबूर हो जाएगा।

वहीं, दूसरी तरफ व्यापारियों का कहना है कि बाहर की मंडियों में आलू की मांग एकदम कम हो गई है और अब तक जितना आलू बाहर की मंडियों में भेजा गया सभी व्यापारियों को उसमें भारी घाटा हुआ है। इस वजह से आलू के दाम अब उठने की उम्मीद नहीं है। 4000 रुपये प्रति कुंतल बिकने वाला आलू आज 740 रुपये कुंतल बिका है। जिससे किसानों की नींद उड़ गई है।

वहीं, ओर आलू विकास निरीक्षक रामनाथ राजपूत का कहना है कि किसानों को चाहिए कि वह अपना आलू खोदकर उसी खेत में गेहूं की फसल ले ले। जिससे आलू का घाटा पूरा किया जा सके। आलू के दाम बढ़ने के आसार नहीं हैं। इसकी खास वजह है कि आलू की मांग बाहर की मंडियों में कम हो गई है।

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