नई दिल्ली। पैगम्बर मोहम्मद पर टिप्पणी के मामले में बीजेपी ने अपनी पार्टी प्रवक्ता नुपूर शर्मा को पार्टी से बाहर कर दिया है लेकिन मामला शांत नहीं हो रहा है।
इस मामले पर ऑल इंडिया मुस्लिम परसनल लॉ बोर्ड ने निलंबित करने को पर्याप्त नहीं बताया है, बोर्ड की माने तो प्रवक्ताओं को कड़ी सजा मिलनी चाहिए। ऑल इंडिया मुस्लिम परसनल लॉ बोर्ड के महासचिव मौलाना खालिद सैफुल्लाह रहमानी ने बयान जारी कर कहा कि, पिछले दिनों देश की सत्ताधारी पार्टी के कुछ कार्यकर्ताओं ने पैगम्बर पर आपत्तिजनक और अशोभनीय टिप्पणी की, इसने देश के सभी मुसलमानों को स़ख्त तकलीफ पहुंचायी और वैश्विक स्तर पर भी इसके कारण देश की प्रतिष्ठा को ठेस पहुंची, इस पृष्ठभूमि में ऐसे जघन्य अपराध करने वालों को पार्टी से निलंबित करना निश्चित रुप से अच्छी बात है लेकिन यह पर्याप्त नहीं है।
ऐसे कुकृत्य करने वालों को कठोर दण्ड दिया जाए, उनके विरुद्ध कानूनी कार्रवाई की जाए और ऐसा कानून बनाया जाए जो विभिन्न धर्मों के पवित्र व्यक्तित्वों (आस्था के प्रतीकों) के अपमान को निन्दनीय अपराध घोषित करता हो और उस पर तत्काल और उचित कानूनी कार्रवाई हो सके। इसके अलावा उन्होंने कहा कि, उत्तरप्रदेश में प्रदर्शन करने वालों के विरुद्ध जिस प्रकार एकतरफा और भेदभावपूर्ण कार्रवाई की जा रही है वह बेहद अफसोसनाक और निन्दनीय है।
टिप्पणी की निंदा करने वाले कुछ अन्य मुस्लिम राष्ट्र सऊदी अरब, कतर और कुवैत हैं। दोहा ने भारत सरकार से टिप्पणियों पर सार्वजनिक रूप से माफी मांगने की मांग की है। दरअसल रविवार को, भाजपा नेपैगंबर मुहम्मद पर उनकी टिप्पणियों के लिए पार्टी प्रवक्ता नुपुर शर्मा को निलंबित कर दिया जबकि नवीन कुमार जिंदल को निष्कासित कर दिया। भाजपा ने कहा कि वह सभी धर्मों का सम्मान करती है। शर्मा पार्टी की राष्ट्रीय प्रवक्ता थीं और जिंदल भाजपा दिल्ली इकाई के प्रवक्ता और मीडिया विभाग के प्रमुख थे।