अपराध

एनसीआरबी रिपोर्ट के अनुसार लिंगानुपात के भयावह आंकड़े, कारण और दुष्परिणाम

सरकार की तमाम कोशिशों के बावजूद लिंगानुपात चिंताजनक विषय है. कुछ भयावह आकड़ो को देख कर मौजूदा हालात का जायजा लिया जा सकता है. साल 2011 की जनगणना के अनुसार प्रति 1000 पुरुषों सिर्फ 943 महिलाएं हैं. पुत्र मोह इसका सबसे बड़ा कारण माना जा रहा है. लिंगानुपात बेटियों के अपहरण का एक कारण है. एनसीआरबी-2016 की रिपोर्ट के मुताबिक इस साल देश में कुल 66,225 लड़कियों का अपहरण किया गया, इनमें से आधी से ज्यादा यानी 33,855 लड़कियों का अपहरण सिर्फ शादी के लिए किया गया.एनसीआरबी रिपोर्ट के अनुसार लिंगानुपात के भयावह आंकड़े, कारण और दुष्परिणाम

एनसीआरबी की रिपोर्ट के मुताबिक नवजात से लेकर 6 साल की उम्र तक की 139 बच्चियों का एवं 6 साल से 12 वर्ष की 666 बच्चियों का अपहरण शादी के लिए किया गया. महिलाओं के खिलाफ अपराध के आंकड़े देखें तो 2016 में देशभर में 3,38,954 अपराध दर्ज किए गए जिनमे 66,525 मामले अपहरण के हैं. अपहरण के 89,875 मामलो में महिलाओं को अगवा करना 74 फीसद है.

महिलाओं के खिलाफ अपराध के मामले में कई सालों से मध्य प्रदेश पहले पायदान पर है. 2016 में अपहरण के मामले में भी मध्य प्रदेश 7237 अपहरणों के साथ चौथे स्थान पर है. इनमें 69.00 फीसदी यानी 4994 लड़कियों का अपहरण हुआ है. वहीं इस मामले में मध्यप्रदेश 2014 में 7833 अपहरणों के साथ दूसरे एवं 2015 में 6778 अपहरणों के साथ पांचवें स्थान पर रह चुका है.

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