ठाणे (महाराष्ट्र) । भारतीय तट रक्षक (आईसीजी) हिंदुस्तान पेट्रोलियम कॉरपोरेशन लिमिटेड (एचपीसीएल) की तेल पाइपलाइन से हो रहे भारी रिसाव रोकने में मदद के लिए यहां पहुंचे। एक अधिकारी ने यह जानकारी दी। बीते दो दिनों के दौरान ऐसा दूसरी बार हुआ कि तट के बाहर संकट से निपटने के लिए तट रक्षकों को बुलाया गया है। आईसीजी के हेलीकॉप्टर ने रायगड़ जिले के तलोजा खाड़ी में डीजल के लीकेज की जांच की। शुक्रवार को आईसीजी ने मुंबई की एक इमारत में लगी आग बुझाने के दौरान फंसे दमककर्मियों को बाहर निकाला था। एक अधिकारी ने कहा कि आईसीजी एक समुद्रगामी समुद्री पुलिस है लेकिन आपात स्थितियों में ही यह तट से दूर किसी संकट के समाधान में मदद कर सकता है। शनिवार को अधिकारियों ने आशंका जताई कि 5० टन से ज्यादा तेल वर्षा जल में मिलकर खाड़ी में चला गया है। एक अधिकारी ने नाम न जाहिर होने देने की शर्त पर आईएएनएस से कहा ‘‘एचपीसीएल अधिकारियों की सहायता से हमलोगों ने रिसाव हुए 1० टन से ज्यादा तेल को निकाल लिया है।’’ इसके अलावा एचपीसीएल ने कामोथे के निकट गुरुवार को पाइपलाइन से हुए रिसाव से उत्पन्न संकट पर नियंत्रण के लिए महाराष्ट्र प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (एमपीसीबी) से भी मदद मांगी है। हालांकि पाइपलाइन से रिसा तेल आसपास के इलाकों में फैल गया है, जिसपर काबू पाने का प्रयास अधिकारी कर रहे हैं। रिसाव के कारणों का अभी पता नहीं चल पाया है। उधर एचपीसीएल ने इस बात का आश्वासन दिया है कि रिसाव को रोकने और सुरक्षा सुनिश्चित करने के उचित उपाय किए जा रहे हैं। अधिकारी ने कहा कि एचपीसीएल के तकनीकी विशेषज्ञ आपदा प्रबंधन प्रदूषण पुलिस अग्निशमन और चिकित्सक रिसाव स्थल पर मौजूद हैं और इस संकट पर नजर बनाए हुए हैं।