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सनसनीखेज खुलासा: मोदी की वाराणसी रैली में हो सकता था बड़ा हादसा

Modi-Varanasiनई दिल्ली: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की वाराणसी रैली को लेकर सनसनीखेज खुलासा हुआ है। बीती 16 मई को वाराणसी के डीएलडब्ल्यू मैदान में पीएम नरेंद्र मोदी की जनसभा से पहले करंट से भले ही एक मजदूर की मौत हुई हो, लेकिन उस घटना ने बड़ा हादसा होने से बचा लिया। पीएम की सुरक्षा करने वाली एसपीजी के मुताबिक मजदूर की मौत से पहले ही उसने देख लिया था कि स्टेज पर करंट फैला था। इसी वजह से एसपीजी ने प्रोग्राम रद्द करने को भी कह दिया था। ऐसे में सवाल ये है कि एसपीजी की आशंका पर तुरंत कदम क्यों नहीं उठाया गया। अगर मजदूर की मौत नहीं होती तो ऐसे में तमाम वीआईपी और आम लोग यहां आते और किसी बड़े हादसे का शिकार बनते तो जवाबदेही किसकी होती।एसपीजी की रिपोर्ट से वाराणसी के जिला प्रशासन के साथ ही केंद्र-यूपी सरकार के इंतजामों की पोल खुल गई है। ऐसे में पीएमओ और गृह मंत्रालय इस घटना की साजिश के एंगल से भी जांच करा रहा है। एसपीजी की रिपोर्ट कहती है कि वायरिंग में गड़बड़ी से स्टेज पर करंट फैला था। ऐसे में बड़ा हादसा हो सकता था, क्योंकि मंच पर कई केंद्रीय मंत्री और यूपी बीजेपी नेता भी मौजूद रहते। बता दें कि डीएलडब्ल्यू मैदान में कॉमनवेल्‍थ गेम्‍स की तर्ज पर एल्यूमिनियम के रॉड और एंगल से फायरप्रूफ और वाटरप्रूफ जर्मन हैंगर लगा पंडाल बनाया गया था। इसके साथ ही तीन एसी टॉयलेट मंगाए गए थे। ये सारा ठेका 11 करोड़ रुपए में जेवीए और नागपाल ईवेंट कंपनी को दिया गया था।ओके सर्टिफिकेट, फिर भी हादसा- अफसरों ने हादसे के महज कुछ घंटे पहले ही बिजली के सारे सिस्टम और वायरिंग को चेक कर सिक्योर इलेक्ट्रिसिटी अरेंजमेंट का सर्टिफिकेट दिया था। उप निदेशक विद्युत सुरक्षा की तरफ से दो असिस्टेंट इंजिनियर्स, श्रीनिवास और चंद्र भूषण चौबे ने डीएलडब्ल्यू ग्राउंड में लगे सभी इलेक्ट्रिकल सिस्टम और पब्लिक एड्रेस सिस्टम को चेक करने के बाद उसे फूल प्रूफ घोषित कर 15 जुलाई की शाम को ही ओके सर्टिफिकेट दिया था। इसके कुछ घंटे बाद ही गुरुवार तड़के लगभग तीन बजे फूल की सजावट कर रहे पश्चिम बंगाल के मजदूर देवनाथ को करंट लग गया और अस्पताल में उसकी मौत हो गई। इसके बाद ही पीएम के वाराणसी दौरे को कैंसल किया गया।बताया जा रहा है कि इतनी बड़ी चूक सामने आने पर पीएम मोदी पहले ही ऊर्जा मंत्री पीयूष गोयल को तलब कर चुके हैं। वहीं, गृह मंत्रालय और पीएमओ लगातार सुरक्षा चूक के मामले में मानकों की अनदेखी को लेकर कई बार बैठक कर चुके हैं। पीएमओ और गृह मंत्रालय के सामने सबसे बड़ा सवाल है कि वाराणसी दौरे पर पीएम की सुरक्षा के लिए एडवांस सिक्योरिटी लायजनिंग (एएसएल) जैसा बड़ा सिस्टम लागू किए जाने बाद भी इस तरह की खतरनाक चूक कैसे हुई।

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