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विदेश में पढ़ाई को अर्फोडेबल बनाने के लिए अपनाएं ये 5 तरीके

विदेश से पढ़ाई करने पर कई फायदे होते हैं। विदेश में पढ़ाई करने से नई संस्‍कृति, नई भाषा को सीखने और नए लोगों को जानने का मौका मिलता है। इससे अच्‍छी नौकरी मिलने के चांसेस भी बढ़ जाते हैं। फायदे तो हैं लेकिन विदेश में पढ़ाई करना काफी महंगा भी होता है। हर कोई विदेश में पढ़ाई करना अफोर्ड नहीं कर सकता है लेकिन कुछ आसाना तरीके अपनाकर भी आप विदेश में पढ़ाई का अपना सपना पूरा कर सकते हैं।

विदेश में पढ़ाई को अर्फोडेबल बनाने के लिए अपनाएं ये 5 तरीके

तो चलिए जानते हैं कि किस तरह विदेश में पढ़ाई के बड़े खर्चे से निपटा जा सकता है।

स्‍कॉलर‍शिप है आसान रास्‍ता

गरीब परिवार या होनहार छात्रों के लिए स्‍कॉलरशिप किसी संजीवनी बूटी से कम नहीं है। ज्‍यादातर यूनिवर्सिटी घरेलू छात्रों को बड़ी संख्‍या में स्‍कॉलरशिप देती हैं। विदेशी छात्रों के लिए उपलब्‍ध ग्रांट्स बहुत कम होता है लेकिन फिर भी कई यूनिवर्सिटी, एनजीओ और सरकार आदि विदेश में पढ़ाई के इच्‍छुक छात्रों के लिए फंड या स्‍कॉलरशिप देते हैं। अगर आप स्‍कॉलरशिप के ज़रिए विदेश में पढ़ाई करना चाहते हैं तो इसके लिए आपको बहुत रिसर्च करनी पड़ेगी।

एजुकेशनल लोन

स्‍कॉलरशिप इतनी नहीं मिलती कि आपकी पढ़ाई का पूरा खर्च उठा सके। स्‍कॉलरशिप से बस ट्यूशन फीस ही निकल पाती है। ऐसे में स्‍टूडेंट्स को अपने खाने, रहने और अन्‍य खर्चों के लिए भी पैसों की जरूरत पड़ती है। अपनी इन जरूरतों को पूरा करने के लिए एजुकेशनल लोन लिया जा सकता है या‍ फिर स्‍टूडेंट लोन भी ले सकते हैं। भारत में किसी भी सरकारी या निजी बैंक से छात्रों को लोन मिल जाएगा।

पार्ट टाइम जॉब

पढ़ाई के साथ-साथ काम करना भी बढिया रहता है। अपने कई अन्‍य तरह के खर्चों को पूरा करने के लिए आप पार्ट टाइम जॉब भी कर सकते हैं लेकिन ध्‍यान रहे कि सभी देशों में छात्रों को स्‍टडी के दौराम काम करने की अनुमति नहीं होती है। ऐसे में स्‍टूडेंट्स को उन देशों की इमिग्रेशन पॉलिसी के बारे में जानकारी जुटानी चाहिए जहां वो पढ़ने के लिए जाना चाहते हैं।

यूनिवर्सिटी के अंदर रोज़गार

कई कॉलेजों के यूनिवर्सिटी विभागों में ही छात्रों को रोज़गार के अवसर मुहैया कराए जाते हैं। इससे छात्रों को नियमित पार्ट टाइम काम आसानी से मिल जाता है। ऐसी नौकरी कर आप पैसा भी कमा सकते हैं और विदेश में अपनी पढ़ाई भी पूरी कर सकते हैं।

निजी फंड्स

अगर आप अपने बच्‍चे को विदेश में पढ़ाना चाहते हैं तो इसका सबसे अच्‍छा तरीका यह है कि आप शुरु से ही उसकी पढ़ाई के पैसों की सेविंग करना शुरु कर दें या फिर इसके लिए फंड अलग से रखें। इसे भविष्‍य के रिटर्न्‍स के लिए निवेश के तौर पर देखना चाहिए। इससे आपको बहुत मदद मिलेगी और विदेश में पढ़ाई का खर्चा भी निकल जाएगा।

अगर आप विदेश में पढ़ाई करने का सपना देख रहे हैं और पैसों की कमी की वजह से ऐसा नहीं हो पा रहा है तो इन तरीकों से आप अपने सपने का पूरा करने की कोशिश तो कर ही सकते हैं। थोड़ी सी मेहनत करने के बाद आपको ये सपना जरूर ही पूरा होगा।

 

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