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मुख्यमंत्री चौहान ने स्मार्ट उद्यान में पारस पीपल और करंज का पौधा रोपा

भोपाल: मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने आज वाटर एड इंडिया संस्था के पदाधिकारियों के साथ स्मार्ट उद्यान में पारस पीपल और करंज के पौधे लगाए। मुख्यमंत्री चौहान ने श्रमदान भी किया और अन्य पौधों के रख-रखाव की जानकारी प्राप्त की। संस्था के पदाधिकारियों जितेंद्र परमार, तौकीर अहमद और अमर प्रकाश ने मुख्यमंत्री चौहान को बताया कि उनकी संस्था राष्ट्रीय स्तर की गैर सरकारी संस्था है।

संस्था मुख्य रूप से जल एवं स्वच्छ्ता के क्षेत्र में कार्य करती है और मध्यप्रदेश में पिछले 20 वर्ष से पेयजल और स्वच्छता सुनिश्चित कराने के लिए प्रयासरत है। भोपाल शहर की 15 बस्तियों एवं 14 स्कूलों में जल एवं स्वच्छता की पहुँच को बेहतर बनाने और 10 बस्तियों में समुदाय आधारित विकेन्द्रीकृत पेयजल सुविधा संबंधी कार्य कर रही है। पेयजल स्त्रोत के रख-रखाव और जल गुणवत्ता के संबंध में समुदाय, विभाग स्तरीय प्रशिक्षण और क्षमता वृद्धि का कार्य भी कर रही है। चार शासकीय स्कूलों में जल- संरक्षण पर जागरूकता के लिए संस्था प्रयासरत है।

संस्था द्वारा शौचालय निर्माण, उपयोग तकनीक पर भी जन-समुदाय की जागरूकता और क्षमतावृद्धि कार्य के साथ शहर की 50 से अधिक बस्तियों को खुले में शौच मुक्त बनाया गया है। फिकल स्लज प्रबन्धन और सफाई मित्रों के लिए प्रशिक्षण आदि की व्यवस्था और स्कूलों में बच्चों को पेयजल और स्वच्छ्ता सुविधा के लिए शहर के 14 स्कूलों में पेयजल स्टेशन, हाथ धुलाई, प्लेटफार्म, शौचालय निर्माण और विशेष जरूरत वाले बच्चों के लिए सुगम्य शौचालय का निर्माण किया गया है। संस्था ने 15 आँगनवाड़ी केंद्रों में हैंडवॉश यूनिट उपलब्ध कराई है। संस्था माहवारी स्वच्छ्ता स्वास्थ्य प्रबन्धन पर किशोरी बालिकाओं को जागरूक और सशक्त बनाने पर भी कार्य कर रही है। संस्था के पदाधिकारियों ने मुख्यमंत्री चौहान को पुस्तिका भी भेंट की।

करंज का पौधा आयुर्वेदिक चिकित्सा में महत्वपूर्ण माना गया है। करंज के पौधे का इस्तेमाल धार्मिक कार्यों में भी किया जाता है। पारस पीपल सामान्य पीपल से पूरी तरह अलग होता है। आमतौर पर जंगलों में पाये जाने वाले पारस पीपल के पत्तों और फूलों का उपयोग कई तरह की दवाइयों में भी किया जाता है। पारस पीपल से नशे की लत भी छुड़ाई जा सकती है।

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