बिजनौर में एनआईए अफसर तंजील अहमद हत्याकांड के आरोपियों को फांसी की सजा
बिजनौर । उत्तर प्रदेश के जिले बिजनौर में शनिवार को अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश कक्ष संख्या-5 ने एनआईए के डिप्टी एसपी तंजील अहमद और उनकी पत्नी फरजाना की गोली मारकर हत्या करने के मामले में अदालत ने आरोपित मुनीर और रैयान को फांसी की सजा और एक-एक लाख रुपये जुर्माने की सजा सुनाई है। अपर जिला शासकीय अधिवक्ता अभिनव जंघाला ने बताया कि एक-दो अप्रैल 2016 की रात राष्ट्रीय अन्वेषण अभिकरण (एनआईए) के डिप्टी एसपी तंजील अहमद और उनकी पत्नी फरजाना पर उस समय जानलेवा हमला किया गया, जब वह स्योहारा में एक विवाह समारोह में शामिल होने के बाद दिल्ली लौट रहे थे। हमले में एनआईए अफसर तंजील अहमद की मौके पर ही मौत हो गई थी, जबकि उनकी पत्नी फरजाना की इलाज के दौरान दिल्ली में मौत हुई थी।
जंघाला ने कहा कि पुलिस विवेचना के मुताबिक पता चला कि रुपयों के लेनदेन को लेकर आरोपित मुनीर का एनआइए अफसर तंजील अहमद के साथ विवाद चल रहा था। मुनीर को संदेह था कि एनआईए अफसर उसकी मुखबिरी कर रहे हैं। इसे लेकर मुनीर ने अपने साथी रैयान, तंजीम, मोहम्मद जैनी और रिजवान के साथ मिलकर एनआईए अफसर तंजील अहमद और उनकी पत्नी की गोली मारकर हत्या कर दी थी।
इस मामले में शुक्रवार को अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश (पांच) डॉ. विजय कुमार तालियान ने मुख्य आरोपीत मुनीर और रैयान को दोषी पाया गया। अदालत ने अन्य साथियों को साक्ष्य के अभाव में आरोपित तंजीम, रिजवान और मोहम्मद जैनी को बरी कर दिया।
इस मामले में शुक्रवार को अदालत ने सजा पर अंतिम फैसला सुरक्षित रखा गया था, जिसमें अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश डॉ. विजय कुमार तालियान ने शनिवार को मुख्य आरोपी मुनीर और रैयान को गवाहों और साक्ष्यों के आधार पर दोषी मानते हुए दोनों को फांसी की सजा और एक-एक लाख रुपये जुर्माने की सजा सुनाई है।