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जानिए झारखंड के 125 करोड़ी इंजीनियर की करप्शन कथा; ऐसे कसा ED ने शिकंजा

रांची : झारखंड का धन कुबेर इंजीनियर इस समय वीरेंद्र राम ED की गिरफ्त में है। उसकी अकूत संपत्ति के खुलासे के बाद उसे गिरफ्तार कर लिया गया है, किन्‍तु ईडी (ED) की रेड के दौरान भी इंजीनियर और उसकी पत्नी का रौब कम नहीं हो रहा था। इंजीनियर की पत्नी ईडी अधिकारियों को भी हड़काने में भी पीछे नहीं रही।

जानकारी के लिए बता दें कि ईडी की जांच में पता चला है कि वीरेंद्र राम के पिता और पत्नी के केनरा बैंक के ज्वाइंट एकाउंट में भी 5.70 करोड़ और 3.59 करोड़ जमा हुए थे। जांच में पाया गया है कि आरके इन्वेस्टमेंट और आरपी इन्वेस्टमेंट एंड कंसल्टेंसी के खातों से पैसे आए थे। ईडी ने दोनों फर्म के संचालक राजेश कुमार केडिया और रीना पाल का भी बयान दर्ज किया है।

दोनों ने बताया है कि उनके बैंक खातों का संचालन सीए मुकेश मित्तल करते हैं। उन लोगों को यह जानकारी नहीं है कि उनके खातों के जरिए पैसे क्रेडिट हुए हैं। ईडी ने पाया कि वीरेंद्र की पत्नी राजकुमारी देवी ने कई महंगी गाड़ियों व अचल संपत्ति की खरीद की थी। इसका जिक्र आयकर रिटर्न में भी नहीं था। राजकुमारी देवी ने बताया है कि उनके खातों में पति ने पैसे डलवाए इसकी जानकारी उन्हें नहीं थी। वहीं वीरेंद्र राम ने स्वीकार किया कि ठेके में कंपनियों से वह 0.3 फीसदी कमीशन लेते थे। कमीशन की राशि उन्होंने कई बड़े नौकरशाहों, बड़े नेताओं और उनके रिश्तेदारों को भी दी।

40 लाख कैश, 1.52 करोड़ के जेवरात। बेटे आयुष के नाम पर खरीदी गई टोयटा फॉर्च्यूनर, ऑडी एजी, मेसर्स परमानंद सिंह बिल्डर्स प्राइवेट लिमिटेड की फॉर्च्यूनर सिग्मा 4, पत्नी राजकुमारी के नाम पर ऑडी ए 6 35 टीडीआई, पनामति देवी के नाम की स्कोडा सुपर्व, मेसर्स राजेश कुमार कंस्ट्रक्शन प्राइवेट लिमिटेड की इनोवा, गुमला के अंकित साहू की टोयटा। ईडी ने वीरेंद्र राम के भतीजे आलोक रंजन से भी लंबी पूछताछ की है। वीरेंद्र राम की काली कमायी की देखरेख आलोक ही करता था। गौरतलब है कि साल 2019 में एसीबी जमशेदपुर ने जब वीरेद्र राम के मातहत अभियंता सुरेश कुमार वर्मा को गिरफ्तार किया था, तब सुरेश के घर के एक कमरे से 2.67 करोड़ मिले थे।

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