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नोट छापने की मशीन है ये पौधा, कोई भी कर सकता है इस पेड़ की खेती

हमारे देश की लगभग 70 प्रतिशत आबादी किसानी कर अपना जीवन यापन करती है। लेकिन सहीं उपकरणों और तकनीक न होने के कारण आज भी देश के करोड़ों किसान गरीबी में जीने को मजबूर हैं।
किसानों को अगर सही मदद और आइडिया मिलें तो वो भी करोड़पति बन सकते हैं। बस जरूरत है उन्हें सही रास्ता दिखाने की।हमारे देश के ज्यादातर किसान मौसमी सब्जियों, फलों और अनाजों की खेती करते हैं। लेकिन आज हम आपको एक ऐसे पेड़ के बारे में बताने जा रहे हैं, जिसकी खेती सबसे ज्यादा रिटर्न दे सकती है।

हालांकि, इसके लिए सब्र की जरूरत है और यह लांग टर्म इन्वेस्टमेंट हैं। आमतौर पर किसान अपने बगीचों या खेतों के किनारे फलों के पेड़ लगाते हैं, ताकि सीजन आने पर उन्हें बेचकर मुनाफा कमाया जा सके। इन सबके बीच अगर चंदन का पेड़ लगा लिया जाए तो ये आपको सालों तक मुनाफा देता रहेगा।

चंदन की खेती में इतना मुनाफा है, जितना किसी भी सरकारी या बाकी प्राइवेट स्कीम में नहीं मिल सकता। कुछ समय पहले गुजरात के भरूच में एक किसान ने 10 लाख रुपए लगाकर चंदन की खेती शुरू की थी। 15-20 सालों में जब ये पेड़ काफी बड़े हो गए तो उसे भारी मुनाफा हुआ। उस किसान ने रिकॉर्ड 15 करोड़ रुपए की कमाई की। सीधी भाषा में समझाएं तो 1 लाख रुपए लगाने पर 1.5 करोड़ का मुनाफा मिला। 15-20 साल तक अगर आप किसी भी स्कीम में इतना पैसा लगाएंगे तो आपको कभी भी इतना मुनाफा नहीं हो सकता।

आमतौर पर चंदन की लकड़ी 6 से 7 हजार रुपए प्रति किलो की दर से बिकती है, अगर क्वालिटी अच्छी हो तो 10 हजार रुपए किलो तक दाम मिल आसानी से मिल जाते हैं। आज हम आपको बताएंगे कि चंदन की खेती कैसे करें और इसके लिए आपको क्या-क्या चाहिए। सबसे पहले आपको चाहिए चंदन के बीच या फिर छोटा सा पौधा। आमतौर पर 2000 रुपए में आपको लाल चंदन के एक किलो बीज मिल जाएंगे। आप चाहें तो पास की नर्सरी से पौधे भी खरीद सकते हैं।

चंदन के पेड़ लाल मिट्टी में अच्छी तरह से उगता है। इसके अलावा चट्टानी मिट्टी, पथरीली मिट्टी या चूनेदार मिट्टी में भी ये पेड़ उग जाता है। हालांकि, गीली मिट्टी और ज्यादा मिनरल्स वाली मिट्टी में ये पेड़ तेजी से नहीं उग पाता। अप्रैल और मई का महीना चंदन की बुवाई के लिए सबसे अच्छा होता है। पौधे बोने से पहले अच्छी और गहरी जुताई करनी जरूरी है। अगर आपके पास काफी जगह है तो एक खेत में 30 से 40 सेमी की दूरी पर चंदन के बीजों को बो दें। मानसून के पेड़ में ये पौधे तेजी से बढ़ते हैं, लेकिन गर्मियों में इन्हें सींचाई की जरूरत है। चंदन के पेड़ को 5 से 50 डिग्री सेल्सियस टेम्प्रेचर वाले इलाके में लगाना सही माना जाता है। इसके लिए 7 से 8.5 पीएच वाली मिट्टी परफेक्ट होती है। एक एकड़ में औसत 400 पेड़ लगाए जा सकते हैं।

इन्वेस्टमेंट की बात करें, तो चंदन का एक पौधा 40-50 रु का पड़ता है। एक एकड़ जमीन में एवरेज 400 पेड़ लगाए जा सकते हैं। यानी 20 हजार का ये खर्चा। इसके अलावा 40 से 50 हजार रुपए खाद में भी खर्च होंगे। इसके बाद आपको 40 से 50 हजार रुपए जाली लगाने में खर्च करने होंगे, ताकि चंदन के पौधे सुरक्षित रहें। चंदन के पेड़ों का इंश्योरेंस भी करवाया जाता है, क्योंकि इन पेड़ों के चोरी का डर होता है। चोरी होने पर इंश्योरेंस कंपनी से आप पैसा ले सकेंगे। महंगा होने की वजह से इन पेड़ों की सुरक्षा भी जरूरी है, इसलिए अगर ज्यादा पेड़ लगा रहे हैं तो सिक्योरिटी के लिए कुछ लोग भी रख लें या फिर आप खुद भी इसकी देखरेख कर सकते हैं। इन सबके अलावा सिंचाई पर भी खर्च करना होगा।

चंदन लगाने के बाद 5वें साल से लकड़ी रसदार बनना शुरू हो जाती है। 12 से 15 साल के बीच यह बिकने के लिए तैयार हो जाता है। चंदन के पेड़ की जड़ से सुगंधित प्रोडक्ट्स बनते हैं। इसलिए पेड़ को काटने के बजाए जड़ से ही उखाड़ा जाता है। उखाड़ने के बाद इसे टुकड़ों में काटा जाता है। ऐसा करके रसदार लकड़ी को कर लिया जाता है। एवरेज कंडीशन में एक चंदन के पेड़ से करीब 40 किलो तक अच्छी लकड़ी निकल जाती है।

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