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जीएसटी काउंसिल की बैठक शुरू, मिल सकती हैं आम पब्लिक को यह बड़ी राहत

आज से दो दिनों के लिए जीएसटी काउंसिल की एक अहम बैठक गुवाहाटी में शुरू हो गई है। इस बैठक को अहम इसलिए माना जा रहा है क्योंकि कई सर्विस और वस्तुओं पर काउंसिल जीएसटीको घटा सकती है। इनकी संख्या 160 के करीब है। 1जुलाई से लागू हुए गुड्स एंड सर्विस टैक्स में पहली बार ऐसा होना जा रहा है, जब इतनी बड़ी संख्या में वस्तुओं और सर्विस पर टैक्स को 10 फीसदी तक कम किया जाएगा।जीएसटी काउंसिल की बैठक शुरू, मिल सकती हैं आम पब्लिक को यह बड़ी राहत

एसी रेस्टोरेंट में खाना हो सकता है सस्ता

सोमवार से जब आप किसी एसी रेस्टोरेंट में खाना खाने जाएंगे, तो शायद आपको कम बिल देना पड़े। खाने के बिल पर आपको 18 फीसदी टैक्स की बजाए 12 फीसदी टैक्स देना होगा, जिससे बिल में सीधे-सीधे 6 फीसदी की बचत होगी।

इनके भी घट सकते हैं दाम

जीएसटी काउंसिल एसी रेस्टोरेंट के अलावा जिन गुड्स पर लगने वाले टैक्स को कम कर सकते हैं, उनमें हाथ से बना फर्नीचर, शैम्पू और प्लास्टिक से बने अन्य सामान शामिल हैं। इन पर अभी 18 फीसदी टैक्स लगता है, जिसको घटा कर के 12 फीसदी किया जा सकता है। इससे लोगों को काफी फायदा होगा, क्योंकि इनको ज्यादातर लोग हमेशा प्रयोग करते हैं। पहले इन्हें लक्जरी आइटम में शामिल किया गया था।

28 फीसदी स्लैब में शामिल हैं 227 गुड्स

सबसे ऊंचे स्लैब में शामिल 227 में से 80 फीसदी वस्तुओं पर कर की दरें 28 फीसदी से घटाकर 18 फीसदी किए जाने की संभावना है। जीएसटी की फिटमेंट कमेटी ने कई वस्तुओं पर जीएसटी को 18 फीसदी से घटाकर 12 फीसदी करने की भी सिफारिश की है।

बरकरार रहेगी 5 फीसदी वाली जीएसटी दर 

जीएसटी के 12 और 18 फीसदी के स्लैब को खत्म कर बीच का एक स्लैब बनाया जाएगा, ताकि लोगों को और राहत मिले। इस कदम से जीएसटी दरों में सरलता भी आएगी। 5 फीसदी के जीएसटी दर को बरकरार रखा जाएगा। केवल 12 और 18 प्रतिशत की दर वाले स्लैब को खत्म कर नया स्लैब बनेगा। इसका फैसला जीएसटी काउंसिल की बैठक में होगा, लेकिन इस फैसले में अभी वक्त लग सकता है। हालांकि सरकार ने इस पर राज्यों से अनौपचारिक चर्चा शुरू कर दी है। इसके अलावा जीएसटी के 28 प्रतिशत वाले स्लैब में शामिल वस्तुओं की लिस्ट बेहद कम की जाएगी। इसमें केवल लग्जरी वस्तुओं के सात-आठ आइटम ही शामिल रह पाएंगे।

जीएसटी स्लैब का अगर संशोधन मंजूर हो गया तो जीएसटी की दर तीन रह जाएगी। अभी चार स्लैब रखने के कदम का बचाव करते हुए सरकार के शीर्ष अधिकारी ने कहा कि महंगाई को काबू में रखने की कवायद में जीएसटी दर के स्लैबों की संख्या 5,12,18 और 28 के रूप में रखी गई थी, लेकिन स्थिति नियंत्रण में आने और टैक्स उगाही सामान्य होते ही जीएसटी दरों में बदलाव कर स्लैब को कम कर दिया जाएगा। सरकार इस दिशा में कार्य कर रही है।

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