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सऊदी अरब में फंसे तीन युवक, हर रोज की जा रही मारपीट

crying-56be258a79c3c_exlstदस्तक टाइम्स एजेंसी/विदेश में काम कर ज्यादा पैसे कमाने की ललक भारतीय युवाओं को महंगी पड़ रही है। ऊना जिले का एक युवक सऊदी अरब में कंपनी के मालिकों की कथित प्रताड़ना का शिकार हो गया है। वह पल-पल वतन वापसी की राह देख रहा है, लेकिन कंपनी के मालिक ने उसका पासपोर्ट, वीजा और आईकार्ड समेत अन्य दस्तावेज जब्त कर लिए हैं। यहां तक कि युवक को पिछले छह माह से तनख्वाह जारी नहीं की गई है।

उत्तर प्रदेश के दो अन्य युवक भी उक्त कंपनी की प्रताड़ना के शिकार हुए हैं, जो अपने देश लौटने के इंतजार में हैं। दौलतपुर के पिरथीपुर का रहने वाला उमेश कुमार पुत्र देसराज पिछले करीब साढे़ तीन सालों से सऊदी अरब के रियाद में एक स्थानीय कंपनी में बतौर मशीन ऑपरेटर कार्यरत है। उमेश ने अमर उजाला से फोन पर संपर्क कर दुखड़ा सुनाते हुए कहा कि इतने वर्षों में उसे एक बार भी छुट्टी नहीं दी गई।

जब उसने इस बाबत कंपनी मालिक से बात की तो उसके साथ मारपीट शुरू कर दी गई और छह महीने से उसकी तनख्वाह भी रोक दी है। उमेश ने बताया कि वह उसके चंगुल से जैसे-तैसे बचकर भारतीय दूतावास गया, लेकिन वहां भी उसकी किसी तरह की मदद नहीं की गई। उसके बाद उक्त कंपनी के मालिक ने उस पर झूठे इल्जाम लगाकर एक महीने के लिए जेल भिजवा दिया।

बुरी तरह से बदहवास हो चुके उमेश कुमार ने भारत सरकार और हिमाचल प्रदेश सरकार से उसे अपने वतन वापस भेजने की गुहार लगाई है। उमेश ने बताया कि उक्त कंपनी में पहले करीब एक दर्जन लोग काम करते थे, जो समय रहते कंपनी से बाहर निकल गए। लेकिन अभी भी कुछ लोगों के पासपोर्ट आदि कंपनी के मालिक के पास हैं, जो उन्हें नहीं लौटा रहा।

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