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डिजिटल लर्निंग प्रोग्राम अब हिंदी में भी, जल्द ही मराठी, गुजराती, मलयालम मेें भी

लखनऊ: आज जमाना तकनीकी युग का है, जीवन के हर क्षेत्र में डिजिटल क्रांति हो रही है और इसके चलते शिक्षा की दुनिया भी बदल रही है जिसमें डिजिटल क्लासरूम भी शामिल है। इसी से एक कदम आगे बढ़ कर एप आधारित लर्निंग प्रोग्राम शुरू करने वाली एजुकेशन कंपनी और देश के सबसे व्यापक पर्सनलाइज्ड के-12 लर्निंग एप बायजू‘स ने अपनी पहुंच बढ़ाने के लिए आज हिंदी में भी अपने लर्निंग प्रोग्राम की शुरूआत कर दी।

लर्निंग एप कंपनी बायजू‘स ने की शुरूआत, दूरदराज के स्टूडेंट्स तक पहुंचने का लक्ष्य

हालांकि बायजू‘स अंग्रेजी आधारित लर्निंग प्रोग्राम के चलते अग्रणी थी लेकिन अब इस कदम के बाद से हिंदी में बायजू‘स के सीखने के कार्यक्रम कक्षा चौथी से 12वीं के स्टूडेंट्स के लिए उपलब्ध होंगे। इस बारे में बायजू‘स के मुख्य परिचालन अधिकारी मृणाल मोहित ने बताया कि 2011 की जनगणना के आंकड़ों के अनुसार देश की 44 फीसदी आबादी की मातृभाषा हिंदी है, ऐसे में यह नई सुविधा बायजू‘स को यूपी बिहार और राजस्थान जैसे हिंदी भाषी राज्यों में छात्रों में विस्तार करने में मदद करेगी। यह कदम देश में दूर-दराज के बच्चों को सीखने के गुणवत्तापूर्ण अवसर प्रदान करने में मदद करेगा। इसी के साथ बायजू‘स अन्य क्षेत्रीय भाषाओं जैसे मराठी, गुजराती, मलयालम में भी लर्निंग प्रोग्राम बनाने पर काम कर रही है।
उन्होंने आगे कहा कि हम देश के हर दूरस्थ स्थान में बैठे छात्रों तक पहुंचना चाहते हैं और उन्हें एक ऐसा माहौल देना चाहते हैं जो उनकी अपनी भाषा में सहजता से उन्हें सिखाएं। हम इस धारणा को तोड़ना चाहते हैं कि अच्छी शिक्षा केवल ‘अंग्रेजी माध्यम’ से ही हासिल हो सकती है। उन्होंने इसी के साथ आगरा में नए स्टूडेंट कनेक्ट सेंटर की शुरुआत भी की। इससे पहले यूपी में लखनऊ में इस तरह का कनेक्ट सेंटर काम कर रहा है।

उन्होंने कहा कि स्टूडेंट कनेक्ट सेंटर स्टूडेंट्स बायजू‘स के व्यक्तिगत सीखने के कार्यक्रमों के असर को समझाने में मदद करने के लिहाज से महत्वपूर्ण साबित होगा। अनुरोध किए जाने पर बायजू‘स विशेषज्ञों की एक टीम किसी भी छात्र के घर पर ऐप प्रदर्शित करने के लिए उपलब्ध होगी। बायजू‘स विशेषज्ञ के साथ सत्र को शेड्यूल करने के लिए छात्र और अभिभावक 09243500457 पर कॉल कर सकते हैं।उन्होंने कहा कि क्षेत्र में अतिरिक्त स्टूडेंट कनेक्ट सेंटर के साथ 55 जिलों के छात्र अब हमारे विशेषज्ञों के साथ विशेष सत्रों को शेड्यूल कर सकते हैं।

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