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जानिए, इस साल कब पड़ रहा है करवा चौथ, क्यों की जाती है चंद्रमा की पूजा

करवा चौथ प्यार और उत्साह का त्योहार है और हर महिला के लिए बहुत पूजनीय होता है। छांदोग्य उपनिषद् के अनुसार चंद्रमा में पुरुष रूपी ब्रह्मा की उपासना करने से जीवन के सभी कष्टों से मुक्ति मिलती है और पुरुष की आयु लंबी होती है। करवा चौथ के व्रत में शिव, पार्वती, कार्तिकेय, गणेश के साथ चंद्रमा की भी पूजा करने का विधान है। इस दिन सुहागिन स्त्रियां अपने पति के लिए व्रत रखती है। यह निर्जला व्रत होता है और चंद्रमा को अर्घ्य देने के बाद पति को छलनी में दीपक रख कर देखा जाता है।इसके बाद पति जल पिलाकर पत्नी के व्रत को तोड़ता है। इस दिन सुबह पूजा के बाद मिट्टी के करवे में चावल,उड़द की दाल, कपड़े और सुहाग की सामग्री रखकर सास के पांव छूं कर सरगी भेंट की जाती है। यह ऐसा त्योहार है जिसकी तैयारी कई हफ्तों पूर्व से शुरू कर दी जाती हैं। आज जानते है करवाचौथ व्रत की तैयारी कैसे करें।

कब है करवा चौथ
इस साल करवा चौथ गुरुवार 17 अक्टूबर 2019 को है। मान्यता के अनुसार इस व्रत को वह लड़कियां भी करती हैं, जिनकी शादी की उम्र हो चुकी है या शादी होने वाली है। करवा चौथ महज एक व्रत नहीं है, यह पति-पत्नी के पावन रिश्ते को अधिक मजबूत करने वाला पर्व भी है।

क्यों होती है चंद्रमा की पूजा
चंद्रमा को आयु, सुख और शांति का कारक माना जाता है और इनकी पूजा से वैवाहिक जीवन सुखमय बनता है और पति की आयु भी लंबी होती है।

ऐसे करें करवा चौथ की तैयारी
करवाचौथ व्रत के लिए बहुत सी सामग्री की आवश्यकता होती है। इस दिन महिलाएं सोलह श्रृंगार करती हैं और श्रृंगार की सामग्री का भेंट भी करती है। इस व्रत में उपयोग होने वाला सभी सामान नया होना चाहिए इसलिए आवश्यक है कि पूजा की तैयारी समय से पहले शुरू कर दी जाए, ताकि कोई भी सामग्री अधूरी ना रहें और पूजा विधि विधान से संपन्न हो जाए।

चंद्रमा के दर्शन के लिए जो थाली तैयार होगी उस थाली में दीपक, सिन्दूर, अक्षत, कुमकुम, रोली तथा चावल की बनी मिठाई होनी चाहिए। पूजन सामग्री में कुंकुम, शहद, अगरबत्ती, पुष्प, कच्चा दूध, शक्कर, शुद्ध घी, दही, मेंहदी, मिठाई, गंगाजल, चंदन, चावल, सिन्दूर, मेंहदी, महावर, कंघा, बिंदी, चुनरी, चूड़ी, बिछुआ, मिट्टी का टोंटीदार करवा व ढक्कन, दीपक, रुई, कपूर, गेहूं, शक्कर का बूरा, हल्दी, पानी का लोटा, गौरी बनाने के लिए पीली मिट्टी, लकड़ी का आसन, छलनी, आठ पूरियों की अठावरी, हलुआ, दक्षिणा के लिए पैसे, अभी से तैयार कर के रख लें।साड़ी और सुहाग की सामग्री जैसे चुड़ियां, बिंदी, बिछिया, महावर, नेलपॉलिश, सिंदूर आदि को खरीद के रख लें।

जो महिलाएं करवाचौथ की पूजा पहली बार करने जा रही हैं उन्हें करवाचौथ कथा की किताब भी लेनी पड़ेगी। अपनी सास के लिए सुहाग का सामान भी खरीद लें। इस सामान में साड़ी, चूड़ियां, बिंदी, मेहंदी, महावर आदि जरूर रखें। करवाचौथ से एक दिन पहले यानि 16 अक्टूबर की रात में मेहंदी लगवा लें। दीपक, मिट्टी का करवा आदि पहले से खरीद कर पूजा घर में रख लें।

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