15 साल की उम्र में लड़की ने छोड़ा घर, बनी ISIS दुल्हन
एक आईएसआईएस जेहादी की 19 साल की विदेशी दुल्हन ने शनिवार रात को बच्चे को जन्म दिया है. सीरिया के रिफ्यूजी कैंप में बेटे को जन्म देने वाली शमीमा बेगम अपने देश इंग्लैंड लौटना चाहती है. इसके लिए वह सरकार से अनुरोध कर रही है. लेकिन उसे सीरिया जाकर आईएसआईएस में शामिल होने का अफसोस नहीं है.
शमीमा का कहना है कि 2015 में सीरिया जाने के फैसले से वह काफी बदल गई है. इस फैसले ने उसे मजबूत महिला बनाया है. उसे अपने देश ब्रिटेन लौटने की इजाजत मिलनी चाहिए या नहीं, इस बात को लेकर बड़ी बहस चल रही है. उधर, उसके वकील का कहना है कि शमीमा के साथ नाजी अपराधियों से भी बुरा व्यवहार किया जा रहा है. (ब्रिटेन छोड़कर सीरिया जाती लड़कियां)
शमीमा बेगम ने कहा है कि उसके बच्चे को ब्रिटेन लाने की अनुमति मिलनी चाहिए और लोगों को उसके लिए सहानुभूति होनी चाहिए. उसके परिवार के वकील ने कहा है कि दूसरे विश्व युद्ध के बाद बड़े पैमाने पर हत्याएं करने वाले लोगों को भी कानूनी हक मिले थे.
वकील ने कहा कि जब वह स्कूल में पढ़ने वाली 15 साल की लड़की थी, तभी चली गई. वह एक पीड़ित थी. वहीं, शमीमा ने एक इंटरव्यू में ये स्वीकार किया है कि ब्रिटेन में उसका पुनर्वास काफी मुश्किल भरा होगा.
शमीमा ने कहा कि जब वह सीरिया आई तो उसे मालूम था कि आईएसआईएस लोगों के सिर काट देती है. शुरुआत में वह इन चीजों के साथ आराम से थी. शमीमा का परिवार चाहता है कि अगर उसे देश वापस आने की अनुमति मिलती है और जेल की सजा दी जाती है तो वे उसके बच्चे को पालने के लिए तैयार होंगे.
आईएसआईएस की दुल्हन ने यह भी कहा कि उन्होंने खुद कुछ भी खतरनाक नहीं किया. प्रोपेगैंडा नहीं किया और लोगों को सीरिया आने के लिए प्रेरित भी कभी नहीं किया. शमीमा ने कहा कि किसी के पास इसका सबूत नहीं होगा कि उन्होंने कुछ खतरनाक किया है.