ई-कॉमर्स कंपनियां गैर-आवश्यक वस्तुओं की बिक्री नहीं कर सकेंगी
नई दिल्ली : देश में तीन मई तक के लिए लॉकडाउन बढ़ा दिया गया है। ऐसे में पिछले हफ्ते गृह मंत्रालय ने 20 अप्रैल से कुछ गतिविधियों को शुरू करने की अनुमति दी थी। जिसमें ई-कॉमर्स कंपनियों को कार्य करने की अनुमति दी है। हालांकि सरकार ने राज्य और केंद्र शासित प्रदेशों के लिए जारी किए नए आदेश में साफ कर दिया है कि ई-कॉमर्स कंपनियां और उनके वाहनों का इस्तेमाल केवल जरूरी सामान की डिलिवरी के लिए होगा। इस दौरान किसी भी गैर-जरूरी सामान की डिलिवरी पर प्रतिबंध जारी रहेगा। चार दिन पहले ई-कॉमर्स कंपनियों को मोबाइल फोन, रेफ्रिजरेटर और सिलेसिलाए परिधानों आदि की बिक्री की अनुमति दी गई थी, लेकिन अब इस छूट को वापस ले लिया गया है। इससे पहले के आदेश में कहा गया था कि ई-कॉमर्स कंपनियां 20 अप्रैल से इन उत्पादों की बिक्री कर सकेंगी। केंद्रीय गृह सचिव अजय भल्ला ने रविवार को इस बारे में आदेश जारी किया। इसमें संशोधित दिशानिर्देशों से ई-कॉमर्स कंपनियों द्वारा गैरजरूरी उत्पादों की बिक्री को हटा दिया गया है। आदेश में कहा गया है कि ई-कॉमर्स कंपनियों से संबंधित प्रावधान जिसमें उनके वाहनों को आवश्यक अनुमति के साथ आवाजाही की अनुमति दी गई थी, को दिशानिर्देशों से हटाया जा रहा है।
हालांकि, इस आदेश को पलटने की वजह तत्काल पता नहीं चल पाई है। घरेलू और अंतरराष्ट्रीय उड़ाने, यात्री ट्रेनें, सभी तरह के शैक्षणिक संस्थान, कोचिंग सेंटर, शैक्षिक प्रशिक्षण, औद्योगिक और वाणिज्यिक गतिविधियां, होटल, टैक्सी, ऑटो रिक्शा, साईकिल रिक्शा, सिनेमा हॉल, शॉपिंग कॉम्पलेक्स, जिम, स्पोर्ट्स कॉम्प्लेक्स, स्वीमिंग पूल, बार, थिएटर, किसी भी तरह का आयोजन, सभी धार्मिक स्थान बंद रहेंगे। अंतिम संस्कार में 20 से ज्यादा लोगों के शामिल होने की इजाजत नहीं दी जाएगी। मंत्रालय के अनुसार 20 अप्रैल से जिन गतिविधियों को मंजूरी दी जाएगी उनमें कृषि, बागवानी, खेती, कृषि उत्पादों की खरीद, ‘मंडियां’ शामिल होंगी। साथ ही एजेंसियां किसानों की उपज खरीद सकेंगी। मनरेगा के तहत कार्यों को जारी रखने की अनुमति दी गई है। ग्रामीण इलाकों में चल रहे उद्योगों को सामाजिक दूरी के सख्त नियमों के साथ 30 अप्रैल से काम करने की अनुमति दी जाएगी। इसके अलावा राज्य सरकार की तरफ से किए जा रहे निर्माण कार्यों को रियायत दी गई है।