उत्तराखंड

गुंजी गांव है उत्तराखंड की शूरता का प्रतीक, पीएम मोदी करेंगे सेना, ITBP और BRO जवानों से गूंजी गांव में बातचीत

देहरादून: भारतीय प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी का एक बार पुनः उत्तराखंड की धरती पर आगमन हो रहा है और सबसे ख़ास बात है कि उन्होंने देवभूमि के मिनी कश्मीर कहे जाने वाले पिथौरागढ़ को अपनी यात्रा का आरंभिक बिंदु चुना है। पीएम 12 अक्तूबर को सुबह 8:30 बजे पिथौरागढ़ जिले के जोलिगकोंग पहुंचेंगे यहां वह पहले आदि कैलाश के दर्शन और पार्वती कुंड में पूजा करेंगे। यह क्षेत्र अपने आध्यात्मिक महत्व और प्राकृतिक सुंदरता के लिए विख्यात है।

प्रधानमंत्री का गूंजी गांव जाने का भी कार्यक्रम है जहां वह सेना, आईटीबीपी और बीआरओ के साथ-साथ स्थानीय लोगों से बातचीत करेंगे अपने इस दौरे के दौरान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पिथौरागढ़ में लगभग 4200 करोड रुपए की विभिन्न विकास योजनाओं का उद्घाटन लोकार्पण और शिलान्यास करेंगे।

गूंजी गांव का ख़ास महत्व है। चीन सीमा को जोड़ने वाली धारचूला-लिपुलेख सड़क पर धारचूला से गुंजी तक का क्षेत्र उत्तराखंड की सुरक्षा के लिए अहम है। चूंकि चीन के साथ उत्तराखंड लगभग 345 किमी लंबी सीमा साझा करता है , इसलिए उत्तराखंड चीन सीमा पर सैनिकों का मनोबल ऊंचा रहे इस बात का ध्यान पीएम मोदी और मुख्यमंत्री धामी ने विशेष रूप से रखा है।

व्यास घाटी के चीन और नेपाल सीमा से सटा ग्राम गुंजी (10,500 फुट) चीन भारत नेपाल बॉर्डर पर स्थित दुनिया के सबसे खूबसूरत इलाकों में से एक है। कैलाश मानसरोवर यात्रा का अहम रूट होने के साथ ही इस इलाके में आदि कैलाश और ऊं पर्वत भी मौजूद हैं। आईटीबीपी के जवान 1980 से ही लगातार कैलाश मानसरोवर यात्रा के यात्रियों को सुरक्षा, मेडिकल कवर और संचार सुविधाएं दे रहे हैं।

आपको बता दें कि पिथौरागढ़ में 11 हजार फीट की ऊंचाई पर स्थित गुंजी में पिछले वर्ष पहली बार ‘शिव महोत्सव’ या ‘शिवोत्सव’ 2021 का आयोजन किया गया। पिथौरागढ़ जिले का यह अति दुर्गम इलाका शिव स्थल के नाम से भी प्रसिद्ध है। यह पहला मौका है जब शिव की धरती पर ‘शिव महोत्सव’ आयोजित किया गया। चीन सीमा से महज 22 किलोमीटर दूर हुए इस महोत्सव में सांस्कृतिक कार्यक्रमों के साथ ही एडवेंचर स्पोर्ट्स से जुड़ी गतिविधियां भी संचालित की गईं थीं, जिससे पर्यटन की अपार संभावनाएं गुंजी गांव, पिथौरागढ़ की झोली में आ सकें और ये पर्यटन हब के रूप में विकसित हो सके।

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