अद्धयात्म

जिस भी स्त्री के हाथ में होती है यह रेखा वो कभी नहीं बन सकती है माँ…

हम सभी इस बात को तो मानते ही हैं कि कोई विवाह तभी पूर्ण सुखी माना जाता है जब दंपती एक स्वस्थ संतान को जन्म दें. ऐसे में सफल और सुखद विवाह का पैमाना एक उत्तम संतान की प्राप्ति भी है, लेकिन कई दंपतियों के जीवन में संतान नहीं आता है और कुछ स्त्रियों को गर्भपात हो जाता है. आप सभी को बता दें कि स्त्री का हाथ भी उसकी संतान के बारे में बहुत कुछ बताता है जो आज हम आपको बताने जा रहे हैं. आइए जानते हैं.कहते हैं हस्तरेखा शास्त्र में शुक्र पर्वत को प्रेम, दांपत्य सुख, यौन सुख और संतान सुख का प्रतिनिधि माना जाता है और शुक्र पर्वत की स्थिति, इस पर मौजूद विभिन्न् प्रकार के चिन्हों के आधार पर पता लगाया जा सकता है कि व्यक्ति की लव लाइफ कैसे रहेगी.

जी हाँ, ज्योतिषों के अनुसार इस पर्वत पर मौजूद चिन्हों के जरिए संतान सुख की स्थिति पता लगाई जा सकती है और आज हम बात करते हैं स्त्री की गर्भावस्था और संतान सुख के बारे में. आइए जानते हैं.

– कहते हैं किसी स्त्री की हथेली में शुक्र पर्वत पर यदि रेखाओं का गहरा जाल बना हुआ है तो यह गर्भपात का संकेत है.

– कहा जाता है मणिबंध रेखा से कोई रेखा निकलकर शुक्र पर्वत पर जाए और वहां जाकर वह किसी आईलैंड की तरह आकार ले तो यह गर्भपात का संकेत देती है.

– ज्योतिषों के अनुसार यदि मणिबंध रेखा से कोई रेखा निकलकर शुक्र पर्वत पर जाए और उल्टा कर्व बनाए तो ऐसी स्त्री को गर्भधारण करने में समस्या आती है और उसे संतान प्राप्ति बहुत समय बाद होती है.

– कहते हैं किसी स्त्री के हाथ में जीवन रेखा से टूटकर कोई रेखा शुक्र पर्वत तक जाए तो महिला को गर्भ धारण संबंधी परेशानी आती है और ऐसी महिला को यूरीन इंफेक्शन और गर्भ से जुड़ी परेशानियां आती रहती है.

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