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भारत का चमकता सितारा कैसे बन गया क्रिकेट का सबसे बड़ा ‘खलनायक’…!

azhar-411एंजेंसी/ भारतीय क्रिकेट के सबसे विवादित और सबसे सफल कप्तानों में शुमार मोहम्मद अजहरूद्दीन अपने जीवन पर बनने वाली फिल्म अजहर के बाद से एक बार फिर चर्चा में है। कलाई का यह जादूगर फील्डिंग में भी जौहर दिखाने के लिए जाना जाता था। सफलता के शिखर से लेकर नाकामयाबियों का सफर तय करने वाले अजहरूदीन का जीवन बेहद उतार चढ़ाव से भरा रहा है। जानिए अजहरूदीन के जीवन के कुछ खास पहलुओं के बारे में।

ऐसा रिकॉर्ड जो आज तक कोई बल्लेबाज नहीं तोड़ पाया: कहते हैं कि पूत के पांव पालने में दिखाई दे जाते हैं। अजहर के बारे में ये कहावत एकदम सटीक बैठती है। 1984 में अपने करियर की शुरूआत करने वाले अजहर ने अपने पहले तीन टेस्ट मैचों में ही तीन धमाकेदार शतक ठोंक कर क्रिकेट की दुनिया को अपने विराट कद से परिचित करा दिया था। खास बात यह है कि अजहर के इस रिकॉर्ड को आज भी कोई खिलाड़ी तोड़ नहीं पाया है।

संगीता के लिए तोड़ी थी पहली शादी : अजहरुद्दीन की पर्सनल लाइफ हमेशा ही सुर्खियों में रही है। उनकी पहली पत्नी का नाम नौरीन था। वो हैदराबाद की रहने वाली थीं। नौरीन के पति रहते हुए 1994 में अजहर का अफेयर बॉलीवुड एक्ट्रेस संगीता बिजलानी से हुआ। संगीता से शादी करने के लिए उन्होंने अपनी 9 साल की शादीशुदा जिंदगी को खत्म करने का फैसला लिया। 1996 में अजहर ने संगीता बिजलानी से शादी कर ली।

अपने समय का सबसे महंगा तलाक : उस वक्त अजहर को तलाक के हर्जाने के रूप में नौरीन को करीब 1 करोड़ रुपए देने पड़े थे। उस वक्त इसे देश का सबसे महंगा तलाक माना गया था। अजहर से तलाक के बाद नौरीन ने कनाडा बेस्ड बिजनेसमैन से शादी कर ली। हालांकि, कुछ साल बाद ही अजहर और संगीता के रिश्ते में भी दूरियां आने लगीं और 2010 में दोनों अलग हो गए।अजहर ने किया सबसे ज्यादा विश्व कप में भारत का नेतृत्व : अजहरूदीन भारत के इकलौते कप्तान हैं जिन्होंने लगातार तीन विश्व कप में भारतीय टीम का नेतृत्व किया है। अजहर 1992, 1996 और 1999 में भारतीय टीम की कप्तानी कर चुके हैं।

80 के दशक मे जमाया था सबसे तेज शतक : 80 के दशक में जब खिलाड़ी धीमी बल्लेबाजी के लिए जाने जाते थे तब अजहरूद्दीन ने न्यूजीलैंड के खिलाफ 62 गेंदों पर ताबड़तोड़ शतक जमाकर अपनी आक्रामक बल्लेबाजी का लोहा मनवाया था।

मोहम्मद अजहरूद्दीन पर मैच फिक्सिंग के आरोप साबित होने के बाद 2000 में क्रिकेट से प्रतिबंध लगा दिया था। हालांकि 2006 में बीसीसीआई ने उन पर से प्रतिबंध हटा लिया गया था।

अजहरूद्दीन ने 19 फरवरी 2009 को कांग्रेस पार्टी से जुड़ने का फैसला किया था। वह उत्तर प्रदेश के मुरादाबाद से चुनाव लड़ते हुए सांसद बने थे। हालांकि 2014 में कांग्रेस के सूपड़ा साफ होने के साथ ही वे लोकसभा चुनाव में हार गए थे।

अजहरूद्दीन के बड़े बेटे मोहम्मद असउद्दीन हैदराबाद के लिए क्रिकेट खेलते हैं। वहीं उनके छोटे बेटे मोहम्मद अयाजुद्दीन की 2011 में एक सड़क दुर्घटना में मौत हो गई थी।

 

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