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हनीप्रीत को 6 दिन की पुलिस रिमांड पर भेजा गया

38 दिन तक लुकाछिपी का खेल खेलने के बाद पुलिस के हत्थे चढ़ी हनीप्रीत की आज पंचकूला कोर्ट में पेशी हुई, जहां से उसे 6 दिन के रिमांड पर भेजा गया है। जबकि पुलिस ने हनीप्रीत का 14 दिन का रिमांड मांगा था।
पुलिस ने दलील दी कि 25 अगस्त को हनीप्रीत के पास मोबाइल था। फरारी के दौरान भी वो मोबाइल साथ रहा। उस मोबाइल को बरामद करने के लिए रिमांड चाहिए। वहीं हनीप्रीत के वकील एस के गर्ग नरवाना ने दलील पर बहस करते हुए कहा कि हनीप्रीत पर राजद्रोह का केस भी नहीं बनता।

वकील ने रिमांड का भी विरोध किया और खुलकर बहस की। वकील ने कहा कि हनीप्रीत एक महिला है और उसका कोई क्रिमिनल रिकॉर्ड भी नहीं है। फिर दोनों पक्षों की बात सुनने के बाद जज ने हनीप्रीत को रिमांड पर भेज दिया। पेशी के दौरान हनीप्रीत के दिल्ली वाले वकील प्रदीप आर्य भी मौजूद रहे। हनीप्रीत की बहन भी मौजूद थीं।

3 अक्तूबर को 15 मिनट में हनीप्रीत को दबोचा गया था

गौरतलब है कि ह​रियाणा पुलिस ने हनीप्रीत को मंगलवार दोपहर बाद करीब तीन बजे जीरकपुर से दो किलोमीटर दूर जीरकपुर-पटियाला रोड पर एक गुरुद्वारे के पास स्थित रिजॉर्ट के बाहर से गिरफ्तार किया। हनीप्रीत इनोवा कार में सवार होकर पटियाला की तरफ जा रही थी। पुलिस ने उसके साथ कार में सवार एक अन्य महिला को भी गिरफ्तार किया है। महिला का नाम सुखदीप है और वह बठिंडा की रहने वाली है।

जानकारी के मुताबिक, लगभग 2:45 बजे डीसीपी कार्यालय में एक मैसेज आया और एसीपी मुकेश मल्होत्रा पुलिसकर्मियों के साथ जीरकपुर की तरफ निकल पड़े। तीन बजकर दस मिनट पर पुलिस कमिश्नर ने प्रेस कॉन्फ्रेंस कर हनीप्रीत की गिरफ्तारी की सूचना दी। इस तरह 38 दिन से फरार हनीप्रीत को पुलिस ने 15 मिनट में दबोच लिया।  गिरफ्तारी के बाद हनीप्रीत को चंडीमंदिर थाने ले जाया गया।

हनीप्रीत को गिरफ्तार करते ही पुलिस ने उससे पूछताछ शुरू कर दी। सूत्रों के मुताबिक, देर रात साढ़े 3 बजे तक पुलिस हनीप्रीत से सवाल पूछती रही। देर रात ही उसकाऔर उसके साथ पकड़ी गई महिला का मेडिकल कराया गया, लेकिन इस दौरान हनीप्रीत रोती रही। हनीप्रीत से एसआईटी, पुलिस आयुक्त पंचकूला एएस चावला, आईजी ममता सिंह सहित अनेक वरिष्ठ पुलिस अधिकारियों ने हनीप्रीत से पूछताछ की।

 

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