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एनकाउंटर’ नहीं, अब परदे पर होगा ‘एंड काउंटर’

 मुम्बई : बॉलीवुड में एनकाउंटर पर अब तक कई फिल्में बन चुकी हैं और दर्शकों ने इन फिल्मों को पसंद भी किया है इसलिए इस विषय पर आज भी कई निर्माता सक्रिय हैं, जो अलग स्टाइल की फिल्म लाना चाहते हैं। उसमें एनकाउंटर तो हो ही, साथ ही कुछ ऐसा हो, जो आज तक उन्होंने किसी एनकांउटर बेस्ड फिल्म में न देखा हो। निर्देशक आलोक श्रीवास्वत की ‘एंड काउंटर’ ऐसी ही एक अनोखी कहानी है जिसके एंड में एनकाउंटर होता है। लोगों में यह जानने की जिज्ञासा तो जरूर होगी कि आखिर एनकाउंटर की बजाय फिल्म् का नाम ‘एंड काउंटर’ क्यों रखा गया है। इसका जवाब में आलोक श्रीवास्तव कहते हैं कि ‘एंड काउंटर’ में सिर्फ एनकाउंटर ही नहीं, लव स्टोरी को भी दिखाया गया है, जिसे हम एनकाउंटर स्पेशलिस्ट और एक लड़की के बीच की प्रेम यात्रा भी कह सकते हैं, पर परिस्थितियां ऐसी बनती हैं कि उनकी लव जर्नी के बीच एनकाउंटर हो जाता है जिससे फिल्म की तस्वीर बदल जाती है। आखिर एनकाउंटर किसका किया गया? यही तो एक रहस्य है जिसका राज फिल्म के एंड में खुलेगा, तो क्यों न इसे ‘एंड काउंटर’ माना जाए। फिल्म के लेखक और निर्देशक आलोक श्रीवास्तव कहते हैं कि यह फिल्म नासिक के एक एनकाउंटर स्पेशलिस्ट से इंस्पायर्ड हैं। पूरी शूटिंग भी हमने नासिक में ही की है। फिल्म में प्रशांत नारायण ने एनकाउंटर स्पेशलिस्ट का किरदार निभाया है और गैंगस्टर बने हैं अभिमन्यू सिंह। दोनों ही दिग्गज़ कलाकार हैं, जो पैसे की वजह से नहीं, बल्कि कॉन्टेंट के कारण फिल्म से जुड़े हैं। आलोक कहते हैं कि एक्टर को या तो पैसा चाहिए या फिर पसंद का रोल। मेरे पास पैसे की बजाय उनकी पसंद का रोल था जिसके कारण वे ‘एंड काउंटर’ का हिस्सा बने।

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