ज्ञान भंडार

गुरुग्रंथ साहिब की बेअदबी से आहत बुजुर्ग ने की हरकत, पीट-पीट कर किया अधमरा

jksdsd_1448054712हमीरगढ़/बठिंडा। पंजाब के ग्रामीण िवकास मंत्री सिकंदर सिंह मलूका को भगता भाई के गांव हमीरगढ़ में 56 साल के बुजुर्ग जरनैल सिंह खालसा ने थप्पड़ जड़ दिया। मंत्री की पगड़ी भी उतर गई। अफरातफरी के बीच सुरक्षाकर्मियों ने बुजुर्ग को काबू किया, लेकिन अकाली दल के वर्करों ने बुजुर्ग को पुलिस से छुड़ाकर पीटना शुरू कर दिया। इतनी बुरी तरह पीटा कि वह अधमरा हो गया। हालत गंभीर होने पर पुलिस उसे भगता भाईका के सरकारी अस्पताल ले गई। वहां से रात करीब 9 बजे उसे फरीदकोट मेडिकल काॅलेज रेफर किया गया। मलूका बठिंडा में 23 नवंबर को हो रही सद्भावना रैली की तैयारी को लेकर शुक्रवार शाम हमीरगढ़ गांव में जनसभा को संबोधित करने पहुंचे थे।
 
मार खाते हुए भी कहता रहा
जरनैल सिंह ने कहा-‘श्री गुरुग्रंथ साहिब की बेअदबी अकाली दल खुद करवा रहा है और फिर बेकसूरों पर झूठे केस दर्ज करवा रहे हैं। अकाली दल जिस तरह से राजनीतिक हित साधने के लिए सिखी का इस्तेमाल कर रहा है, ऐसा मैंने पहले कभी नहीं देखा। अब यही अकाली सद्भावना रैली के नाम पर लोगों को गुमराह कर रहे हैं। ’
(ये बातें जरनैल सिंह ने हमला करते हुए और फिर मार खाते हुए कही। वह तब तक बोलता गया, जब तक बेहोश नहीं हो गया।)
 
 
रिश्तेदार बोले-बेअदबी के कारण आहत था
बुजुर्ग जरनैल सिंह श्री गुरु ग्रंथ साहिब की बेअदबी की घटनाओं से आहत था। उसके भांजे धर्मवीर ने कहा कि जरनैल हमीरगढ़ के गुरुद्वारा साहिब की प्रबंधकीय कमेटी का मेंबर है। बेअदबी की घटनाओं का उस पर गहरा असर पड़ा। बरगाड़ी व कोटकपूरा के प्रदर्शनों में भी वह शामिल था। गांव के कत्तर सिंह ने बताया कि जरनैल का किसी पार्टी से संबंध नहीं है। वह तो ज्यादातर समय गुरुद्वारा साहिब में ही रहता है।
 
गांव में दहशत, परिवार ने डर के मारे घर छोड़ा
जरनैल की हालत जानने के लिए डाक्टर जंग बहादुर सिंह से बात की तो उन्होंने सिर्फ ये ही कहा कि उन्हें कुछ भी बताने से मना किया गया है और गाड़ी लेकर निकल गए। लोगों का कहना है कि जरनैल मलूका के प्रोग्राम को लेकर तीन दिन से गुरुद्वारे से अनाउंसमेंट कर रहा था।
 
एसएसपी कह रहे थप्पड़ नहीं मारा, धक्का दिया
एसएसपी स्वप्न शर्मा ने कहा कि मलूका को थप्पड़ा नहीं मारा गया। बुजुर्ग ने धक्का दिया था, जिससे मंत्री की पगड़ी गिर गई। पुलिस मामले की जांच कर रही है। दूसरी ओर, प्रत्यक्षदर्शियों का कहना है कि थप्पड़ पड़ा था। पगड़ी गिरी थी। उसके बाद पुलिस ने सभी मीडियाकर्मियों से कैमरे छीन लिए। कुछ लोगों के मोबाइल फोन भी लिए, ताकि वीडियो या फोटो डिलीट कर सकें। इसी वजह से इस घटना की फोटो नहीं मिल पाई।
 
इसी बुजुर्ग ने तो प्रोग्राम के लिए दरियां बिछाईं, हमला क्यों किया, मालूम नहीं
50-55 साल के बुजुर्ग ने मुझ पर हमला क्यों किया, मालूम नहीं। हैरानी की बात तो ये है कि वही आदमी तीन दिन से गांव में स्पीकर से अनाउंसमेंट कर रहा था कि गांव में मलूका साहिब पहुंच रहे हैं। आज के प्रोग्राम के लिए उसने दरियां भी बिछाईं। वह नीली पगड़ी बांध कर आया था। मैं इस नेचर का नहीं हूं कि बिना जांच के ही उस व्यक्ति पर आरोप लगाऊं कि वह किसी पॉलिटिकल पार्टी से संबंधित है।’

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