अन्तर्राष्ट्रीय

CIA चीफ बोले -PM मोदी ने रूस और यूक्रेन के बीच परमाणु युद्ध रोकने में निभाई अहम भूमिका

वॉशिंगटन : रूस और यूक्रेन के बीच जारी युद्ध में परमाणु हथियारों के इस्तेमाल को रोकने में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अहम भूमिका निभाई है. अमेरिकी खुफिया एजेंसी सीआईए के डायरेक्टर बिल बर्न्स ने इसे लेकर प्रधानमंत्री मोदी की तारीफ की है. बर्न्स ने कहा है कि परमाणु हथियारों के इस्तेमाल पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के विचारों का रूसियों पर प्रभाव पड़ा और इसने यूक्रेन युद्ध के चलते होने वाली वैश्विक आपदा को रोकने का काम किया. पीबीएस को दिए एक इंटरव्यू में बिल बर्न्स ने कहा, मुझे लगता है कि शी जिनपिंग और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने परमाणु हथियारों के इस्तेमाल को लेकर अपनी चिंताओं को उठाया था. मुझे लगता है कि इसका असर रूस पर भी पड़ा है.

सीआईए के प्रमुख ने कहा कि “मुझे लगता है कि ये डराने के लिए की जाने वाली है. हमें सामरिक परमाणु हथियारों के इस्तेमाल की योजना का कोई स्पष्ट साक्ष्य नहीं दिखता है.” सीआईए प्रमुख बिल बर्न्स की यह टिप्पणी ऐसे समय आई है जब कुछ ही दिन पहले रूसी प्रधानमंत्री व्लादिमीर पुतिन ने कहा था कि यह संघर्ष थोड़ा और समय लेगा. साथ ही उन्होंने परमाणु युद्ध के बढ़ते खतरे को लेकर भी चेतावनी दी थी.

सीएनएन के मुताबिक क्रेमलिन में रूस की मानवाधिकार परिषद की बैठक को संबोधित करते हुए पुतिन ने कहा था कि लड़ाई में रूस सभी उपलब्ध साधनों का इस्तेमाल करेगा. पुतिन ने कहा था कि वह मॉस्को के परमाणु शस्त्रगार को उकसावे के बजाय निवारक मानते हैं. सीएनएन के मुताबिक, रूस ने कहा, “रूस किसी भी परिस्थिति में ऐसे हथियारों का उपयोग पहले नहीं करेगा, तो इसका मतलब है कि हम उनका उपयोग करने वाले दूसरे व्यक्ति भी नहीं बन पाएंगे – क्योंकि हमारे क्षेत्र पर हमले की स्थिति में ऐसा करने की संभावना बहुत सीमित होगा.”

भारत खास तौर पर रूस और यूक्रेन के बीच युद्ध शुरू होने के बाद से बातचीत और कूटनीति का आह्वान कर रहा है. प्रधानमंत्री कार्यालय के मुताबिक 16 दिसंबर को रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के साथ एक टेलीफोनिक बातचीत में, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रूस और यूक्रेन के बीच चल रहे युद्ध के संदर्भ में बातचीत और कूटनीति को एकमात्र रास्ता बताया.

टेलीफोन पर हुई बातचीत के दौरान पुतिन ने यूक्रेन की दिशा में रूस के रुख का मौलिक आकलन किया. सितंबर में समरकंद में शंघाई सहयोग संगठन (एससीओ) के मौके पर आमने-सामने की बैठक के बाद दोनों नेताओं के बीच बातचीत हुई थी. क्रेमलिन द्वारा जारी बयान के अनुसार, “नरेंद्र मोदी के अनुरोध पर, व्लादिमीर पुतिन ने यूक्रेनी दिशा पर रूस के रुख का मौलिक आकलन किया.”

समरकंद में सभा के दौरान पीएम मोदी ने कहा था, ‘आज का युग युद्ध का नहीं है.’ इस बीच, रूसी राष्ट्रपति पुतिन ने कहा था, “मैं यूक्रेन संघर्ष पर आपकी स्थिति के बारे में अवग हूं. मैं आपकी चिंताओं के बारे में जानता हूं. हम चाहते हैं कि यह सब जल्द से जल्द खत्म हो.” पुतिन ने कहा था कि, “आज का युग युद्ध का नहीं है और मैंने इसके बारे में आपसे कॉल पर बात की है. आज हमें इस बारे में बात करने का अवसर मिलेगा कि हम शांति के पथ पर कैसे आगे बढ़ सकते हैं. भारत और रूस कई दशकों से एक-दूसरे के साथ रहे हैं.”

इससे पहले अक्टूबर में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने यूक्रेन के राष्ट्रपति व्लोदिमिर जेलेंस्की से बात की थी. टेलीफोन पर बातचीत के दौरान, पीएम मोदी ने इस बात को साफ तौर पर कहा था कि परमाणु सुविधाओं को खतरे में डालने से सार्वजनिक स्वास्थ्य और पर्यावरण पर विनाशकारी परिणाम हो सकते हैं.

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