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सम्पूर्ण मानवता को एकता के सूत्र में पिरोना ही धर्म का उद्देश्य -स्वामी प्रसाद मौर्य

इण्टरनेशनल इण्टरफेथ कान्फ्रेन्स का सी.एम.एस. में भव्य उद्घाटन

लखनऊ। सिटी मोन्टेसरी स्कूल, अशर्फाबाद कैम्पस द्वारा आयोजित तीन दिवसीय ‘इण्टरनेशनल इण्टरफेथ कान्फ्रेन्स’ का भव्य उद्घाटन आज सायं सी.एम.एस. कानपुर रोड ऑडिटोरियम में हुआ। इस अवसर पर सी.एम.एस. छात्रों ने देश-विदेश से पधारे विद्वानों, विचारकों, दार्शनिकों, धर्मावलम्बियों व न्यायविदों आदि के सम्मान में रंगारंग शिक्षात्मक-साँस्कृतिक इन्द्रधनुषी छटा प्रस्तुत कर सभी को मंत्रमुग्ध कर दिया तथापि विश्व एकता व विश्व शांति के लक्ष्य हेतु सभी धर्मो के बीच समन्वय का संदेश दिया। इससे पहले, मुख्य अतिथि श्री स्वामी प्रसाद मौर्य, मंत्री, श्रम एवं सेवा योजना, उ.प्र. ने समारोह का विधिवत् उद्घाटन किया। विदित हो कि धार्मिक समन्वय पर आधारित ‘इण्टरनेशनल इण्टरफेथ कान्फ्रेन्स’ का आयोजन 12 से 14 अगस्त तक सी.एम.एस. कानपुर रोड ऑडिटोरियम में किया जा रहा है, जिसमें इजिप्ट, अमेरिका, इंग्लैण्ड, दक्षिण अफ्रीका, जर्मनी, बांग्लादेश, कनाडा, रोमानिया, अल्जीरिया, मोरक्को, सउदी अरब, ईरान, नेपाल, श्रीलंका एवं भारत के विभिन्न प्रान्तों से पधारे विद्वजन अपनी उपस्थिति दर्ज करा रहे हैं। यह अन्तर्राष्ट्रीय सम्मेलन ‘द रोल ऑफ रिलीजन इन डेवलपमेन्ट’ थीम पर आधारित है।

उद्घाटन समारोह में बोलते हुए स्वामी प्रसाद मौर्य ने कहा कि सी.एम.एस. द्वारा आयोजित किया जा रहा यह सम्मेलन एक अनूठा प्रयास है जिसका प्रभाव दूरगामी होगा। सम्पूर्ण मानवता को एकता के सूत्र में पिरोना ही धर्म का उद्देश्य है। धर्म इंसान को इंसान से जोड़ता है और इसी भावना के अनुरूप विभिन्न धर्मो की समानताओं पर गौर करते हुए समन्वय एवं भाईचारा बढ़ाने का प्रयास किया जाना चाहिए। सी.एम.एस. की प्रशंसा करते हुए श्री मौर्य ने कहा कि विभिन्न देशों व धर्मों के धर्मावलिम्बयों के आपसी संवाद हेतु अन्तर्राष्ट्रीय मंच उपलब्ध कराना बहुत बड़ी बात है और यह धार्मिक समुदायों के मध्य परस्पर विश्वास को बढ़ावा देने का सशक्त माध्यम है। उद्घाटन समारोह में सी.एम.एस. छात्रों ने एक से बढ़कर शिक्षात्मक-साँस्कृतिक प्रस्तुतियों से देश-विदेश से पधारे मेहमानों का दिल जीत लिया। स्कूल प्रार्थना, स्वागत गान, सर्व-धर्म प्रार्थना, विश्व शान्ति प्रार्थना, नृत्य, कोरियोग्राफी, कव्वाली आदि अनेकानेक प्रस्तुतियों ने सभी को तालियां बजाने पर मजबूर कर दिया। छात्रों द्वारा प्रस्तुत विश्व संसद कार्यक्रम को भी सभी ने खूब सराहा।

इस अवसर पर सी.एम.एस. संस्थापक व प्रख्यात शिक्षाविद् डा. जगदीश गाँधी ने देश-विदेश से पधारे अतिथियों का हार्दिक स्वागत अभिनन्दन करते हुए कहा कि धर्म को जीवन से व शिक्षा से अलग नहीं किया जा सकता। धर्म हमें जीवन मूल्यों पर चलना सिखाता है, हमारी आध्यात्मिक प्रगति करता है। अतः यह जरूरी है कि हम सभी के प्रति प्रेमभाव रखे। यही उद्देश्य लेकर अन्तर्राष्ट्रीय इन्टरफेथ सम्मेलन का आयोजन किया जा रहा है। इण्टरनेशनल इन्टरफेथ कान्फ्रेन्स की संयोजिका एवं सी.एम.एस. अशर्फाबाद कैम्पस की प्रधानाचार्या श्रीमती तृप्ति द्विवेदी ने विश्वास व्यक्त किया कि यह अन्तर्राष्ट्रीय सम्मेलन विश्व के विभिन्न धर्मों के बीच संवाद कायम करने, धर्म के आधार पर होने वाली दूरियों को मिटाने एवं संसार में प्रेम और भाईचारा की भावना को बढ़ावा देने में मददगार साबित होगा। सी.एम.एस. के मुख्य जन-सम्पर्क अधिकारी हरि ओम शर्मा ने बताया कि इण्टरफेथ सम्मेलन के अन्तर्गत चर्चा-परिचर्चा का दौर कल प्रातः 9.00 बजे से सी.एम.एस. कानपुर रोड ऑडिटोरियम में प्रारम्भ होगा, जिसमें देश-विदेश से पधारे विद्वजन विभिन्न विषयों पर अपने सारगर्भित विचार रखेंगे।

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