राहत की खबरः सरकार ने टीवी पैनल पर आयात शुल्क आधा घटाया
सरकार ने टीवी पैनल के एक प्रमुख घटक पर आयात शुल्क 10 प्रतिशत से आधा घटाकर 5 प्रतिशत कर दिया। इस कदम से राहत पाई टीवी बनानेवाली कंपनियों का कहना है कि अब उनकी लागत घटेगी और मैन्युफैक्चरिंग से जुड़ी नौकरियां बढ़ेंगी। टीवी पैनल के सबसे महत्वपूर्ण पार्ट ‘ओपन सेल’ पर इस बार के बजट में 10 प्रतिशत ड्यूटी लगा दी गई थी। इसके बाद कंपनियों ने टीवी की खुदरा कीमतें 5 से 6 प्रतिशत बढ़ा दीं। साथ ही, उन्होंने ड्यूटी बढ़ने से रोजगार के नए मौके प्रभावित होने की आशंका जताई थी। उनका कहना था कि आयात शुल्क बढ़ने से भारत में तैयार करने की जगह बना-बनाया टेलिविजन सेट आयात करना सस्ता होगा। इकनॉमिक टाइम्स ने टीवी कंपनियों की समस्याओं पर 7 मार्च को खबर प्रकाशित की थी।
उन्होंने कहा, ‘इससे देश में टीवी के लिए नई क्षमता विकसित होगी। उससे भी बढ़कर कन्ज्यूमर इलेक्ट्रॉनिक्स इंडस्ट्री विकसित मैन्युफैक्चरिंग इकोसिस्टम की ओर कदम बढ़ा सकेगा। साथ ही, रोजगार के नए अवसर भी पैदा होंगे।’ कन्ज्यूमर इलेक्ट्रॉनिक्स ऐंड अप्लायंसेज मैन्युफैक्चरर्स असोसिएशन (सीईएएमए) ने सरकार से शुल्क वापसी का अनुरोध किया था। सरकार ने ओपन सेल के अलावा संपूर्ण नीर्मित पैनलों पर भी 15 प्रतिशत आयात शुल्क लगा दिया था।
कंपनियों का कहना है कि ओपन सेल पर ड्यूटी घटने से टीवी निर्माता अब देश में ही असेंबलिंग करेंगे। टीवी इंडस्ट्री के एक अधिकारी ने नाम गुप्त रखने की शर्त पर कहा, ‘पैनल की करीब 90 प्रतिशत लागत ओपन सेल पर ही आ
इस वित्त वर्ष में करीब 1.7 करोड़ टीवी सेट्स देश में बेचे जाने का अनुमान है जिससे 25,000 रुपये का राजस्व खड़ा होगा। टीवी निर्माण के काम में करीब 11,000 लोगों को प्रत्यक्ष रोजगार मिलने की संभावना है जबकि परोक्ष तौर पर 33,000 अन्य लोगों को रोजगार मिलेगा। ड्यूटी बढ़ने से एलजी, सैमसंग, पैनसॉनिक, सोनी समेत तमाम कंपनियां प्रभावित हुई थीं। इनके साथ ही, डिक्सन और सुपर प्लैस्ट्रोनिक्स जैसे कॉन्ट्रैक्ट मेकर्स पर भी असर हुआ था।