लखनऊ।उत्तर प्रदेश सरकार ने प्रदेश में शिक्षा व्यवस्था को माडल रूप देने का मन बनया है। केन्द्रीय विद्यालयों की तरह माडल तैयार करने की योजना बनाई जा रही है। इस बारे में प्रदेश सरकार के माध्यमिक शिक्षा मंत्री इकबाल महमूद ने बताया कि प्रदेश के पिछड़े हुए विकास खण्डों में केन्द्रीय विद्यालयों के पैटर्न पर नवीन मॉडल स्कूलों की स्थापना करने की बात कही है। उन्होनें बताया कि भारत सरकार द्वारा निर्धारित इस योजना की गाइडलाईन्स के अनुसार माडल स्कूल की स्थापना केन्द्रीय विद्यालय के तर्ज पर की जायेगी। इन विद्यालयों में आवश्यक इन्फ्रास्ट्रक्चर, सामग्री, उपकरण तथा सुविधाएं उपलब्ध करायी जायेंगी। उन्होनें बताया कि विज्ञान, गणित तथा अंग्रेजी शिक्षण के अतिरिक्त कला, संगीत एवं साफ्ट-स्किल्स तथा व्यक्तित्व के सर्वागीण विकास पर बल दिया जायेगा। कम्प्यूटर की शिक्षा भी दी जायेगी। माध्यमिक शिक्षा मंत्री ने बताया कि इन विद्यालयों के निर्माण पर अनावर्तक व्यय प्रति विद्यालय रू0 3.02 करोड़ है तथा आवर्तक व्यय रू0 0.75 करोड़ है। माडल स्कूल योजना के अन्तर्गत भारत सरकार द्वारा वर्ष 2010-11 में स्वीकृत 148 माडल स्कूलों के निर्माण कार्य हेतु शत-प्रतिशत धनराशि प्राप्त हो चुकी है, जिसका निर्माण कार्य प्रगति पर है इन विद्यालयों में से 42 विद्यालय फिनिशिंग स्तर पर, 42 विद्यालय 70 प्रतिशत पर, 54 विद्यालय 40 प्रतिशत पर तथा 09 विद्यालय 20 प्रतिशत का निर्माण कार्य पूरा है। उन्हांने बताया कि वर्ष 2012-13 में भारत सरकार द्वारा 45 मॉडल स्कूलों की स्वीकृति प्रदान की गई है। इन नवीन विद्यालयों के निर्माण हेतु प्राप्त धनराशि रू0 150.75 लाख प्राप्ति विद्यालय की दर से शिक्षा विभाग के जिला परियोजना कार्यालयों को उपलब्ध करा दी गई है।