देहरादून: उत्तराखण्ड में पर्यटन की अपार संभावनाओं के दृष्टिगत एस्ट्रो टूरिज्म को बढ़ावा दिये जाने के उद्देश्य से में पर्यटन विभाग द्वारा एस्ट्रो टूरिज्म कंपनी के सहयोग से ‘नक्षत्र सभा‘ का जॉर्ज एवरेस्ट मसूरी में विधिवत उद्घाटन हो गया है। यह अपने आप में अलग क़िस्म का आयोजन है, देश में पहली बार एस्ट्रो टूरिज्म की थीम पर “नक्षत्र सभा” आयोजन किया गया है। यह आयोजन 2 जून तक चलेगा।
मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी के विजन के अनुरूप प्रदेश में धार्मिक पर्यटन के अलावा बहुआयामी पर्यटन गतिविधियों बढ़ावा देने के दृष्टिगत पर्यटन विभाग ने यह पहल की है। मुख्यमंत्री श्री धामी ने पर्यटन विभाग द्वारा आयोजित “नक्षत्र सभा” के सफल आयोजन के लिए शुभकामना दी हैं।
मुख्यमंत्री धामी ने कहा कि प्रदेश में बहुआयामी पर्यटन के दृष्टिगत सरकार अन्य संसाधन भी विकसित कर रही है। मुख्यमंत्री श्री धामी ने कहा कि सरकार ग्रीन टूरिज्म को बढ़ावा देने के दृष्टिगत विभिन्न प्रयास कर रही है। मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश में धार्मिक पर्यटन के अलावा साहसिक पर्यटन, वेलनेस टूरिज्म, एस्ट्रो टूरिज्म पर विशेष ध्यान दिया जा रहा है। उन्होंने कहा कि सरकार प्रदेश के विभिन्न स्थानों पर एस्ट्रो विलेज स्थापित कर रही है।
पर्यटन मंत्री सतपाल महाराज ने कहा कि सरकार का प्रयास है प्रदेश में जो भी पर्यटक आते हैं वो एक बेहतर अनुभव ले के जायें। उन्होंने कहा कि प्रदेश में नए -नए पर्यटक स्थलों को विकसित करने पर ज़ोर दिया जा रहा है। इस आयोजन का उद्घाटन समारोह जॉर्ज एवरेस्ट, मसूरी में आर्यभट्ट प्रेक्षण विज्ञान शोध संस्थान के निदेशक डॉ. दीपांकर बनर्जी, डॉ0 प्रभास पांडे, प्रोफेसर, दिल्ली विश्वविद्यालय, श्री आकाश सिन्हा, सहायक प्रोफेसर , प्रैक्टिस, स्कूल ऑफ इंजीनियरिंग, शिव नादर विश्वविद्यालय, डॉ0 टी0वी0 वेंकटेश्वरन, विज्ञान प्रसार, और स्टारस्केप्स के संस्थापक श्री रामाशीष रे की उपस्थिति में आयोजित किया गया था।
आयोजन के लिए स्थान के रूप में जॉर्ज एवरेस्ट शिखर का चयन महत्वपूर्ण ऐतिहासिक महत्व रखता है। प्रसिद्ध ब्रिटिश सर्वेक्षक सर जॉर्ज एवरेस्ट के नाम पर रखा गया यह शिखर भारत के त्रिकोणमितीय सर्वेक्षण का केंद्र था, जो देश के सटीक मानचित्रण के लिए महत्वपूर्ण था। हिमालय क्षेत्र के सर्वेक्षण में पं0 नैन सिंह रावत ने सर जॉर्ज एवरेस्ट के साथ बड़े पैमाने पर सहयोग किया। हाल ही में उत्तराखंड पर्यटन विकास परिषद ने सर जॉर्ज एवरेस्ट स्टेट में देश के पहले कार्टाग्राफी संग्रहालय का भी उद्घाटन किया।
नक्षत्र सभा विशेष उपकरणों के माध्यम से तारों को देखने, विशेष सौर अवलोकन, एस्ट्रोफोटोग्राफी प्रतियोगिता, तारों के नीचे शिविर लगाने जैसी बहुत सी गतिविधियों के साथ एक समग्र खगोल पर्यटन अनुभव प्रदान करती है। नक्षत्र सभा का आयोजन 2025 के मध्य तक किया जायेगा, जो पूरे उत्तराखंड में विभिन्न स्थानों पर गहन कार्यक्रमों की एक श्रृंखला पेश करेगी। इसमें विशेषज्ञों के साथ सेमिनार और वेबिनार के अलावा उत्तरकाशी, पिथौरागढ़, नैनीताल, चमोली जिलों में डार्क स्काई संभावित स्थलों को कवर किया जाएगा। इस पहल का उद्देश्य खगोल विज्ञान के प्रति उत्साही लोगों को ब्रह्मांड की सुंदरता को देखने के लिए एक साथ लाना है।
यह अभियान स्थानीय युवाओं को प्रशिक्षण और कौशल विकास के अवसर प्रदान करेगा, जिससे उनके लिए रोजगार के नए अवसरों का सृजन हो सके। इसके अलावा यह उत्तराखंड में डार्क स्काई संरक्षण प्रयासों को बढ़ावा देने के लिए समर्पित राजदूतों के एक समुदाय को बढ़ावा देकर डार्क स्काई के संरक्षण की वकालत करेगा। इसमें एक अंधेरे आकाश संरक्षण नीति का निर्माण और वर्ष के दौरान पूरे क्षेत्र में इसका कार्यान्वयन शामिल है। स्टारस्केप्स की टीम स्थानीय समुदायों, यात्रा और पर्यटन भागीदारों के साथ-साथ होमस्टे समुदायों के साथ सक्रिय रूप से कार्य करेगी तथा नक्षत्र सभा के सफल कार्यान्वयन को सुनिश्चित करने के लिए प्रशिक्षण और निरंतर सहायता प्रदान करेगी।
श्री0 सचिन कुर्वे, सचिव पर्यटन/मुख्य कार्यकारी अधिकारी, उत्तराखण्ड पर्यटन विकास परिषद ने कहा कि नक्षत्र सभा के शुभारंभ के साथ हमारा उद्देश्य उत्तराखंड को खगोल पर्यटन में सबसे आगे रखना है। स्टारस्केप्स के सहयोग से यह अनूठी पहल शुरू की गई है। उत्तराखंड अपने विशाल वन क्षेत्र, प्रकृति-आधारित पर्यटन और होम स्टेस् के साथ एस्ट्रो टूरिस्ट की पसंद बनने के लिए विशिष्ट स्थिति में है। यह अभियान उस दिशा में एक और कदम है। हमारा उद्देश्य दुनिया भर से आगंतुकों को आमंत्रित करना है। हम उन्हें उत्तराखंड की अनूठी विरासत की झलक दिखाने के साथ-साथ ब्रह्मांड के जादू का अनुभव करने के लिए इस तरह के कई और अभियानों की मेजबानी करने के लिए उत्सुक हैं जो उत्तराखंड को वैश्विक एस्ट्रो टूरिज्म मानचित्र पर ला सकते हैं।
स्टारस्केप्स के संस्थापक, रामाशीष रे ने कहा, पिछले कई वर्षों से हम राज्य में अनुभव केंद्रों और वेधशालाओं की अपनी श्रृंखला के माध्यम से इसे बढ़ावा देने के अलावा, उत्तराखंड पर्यटन विकास परिषद के साथ मिलकर कई एस्ट्रो टूरिज्म शिविरों की मेजबानी कर रहे हैं, जिनमें हमें अच्छी प्रतिक्रिया मिली है। हम पर्यटन विभाग के इस वार्षिक एस्ट्रो पर्यटन अभियान- ‘नक्षत्र सभा‘ के साथ जुड़ने में खुद को सौभाग्याशाली मानते हैं। इस अभियान की संकल्पना उत्तराखंड को आदर्श एस्ट्रो टूरिज्म गंतव्य के रूप में स्थापित कर स्थानीय समुदायों को एस्ट्रो टूरिज्म से जोड़कर रोजगार के अवसर प्रदान करना है।
नक्षत्र सभा की मुख्य विशेषताओं में विशेष उपकरणों के माध्यम से तारों को देखना, एस्ट्रो टूरिज्म पर विशेषज्ञ वार्ता, एस्ट्रोफोटोग्राफी प्रतियोगिता, विशेष सौर अवलोकन आदि शामिल हैं।